एडवायजरी ऑफिस पर पुलिस ने मारा छापा, तीन को पकड़ा, केस दर्ज नहीं
मनमाने ढंग से संचालित हो रहे हैं शेयर इन्वेस्टमेंट के सेंटर
अक्षरविश्व न्यूज.उज्जैन।शहर में शेयर मार्केट में रुपये इन्वेस्ट कर कम समय में अधिक लाभ कमाने का लालच देकर अनेक फर्जी कंपनियों के ऑफिस संचालित हो रहे हैं, लेकिन आज तक पुलिस किसी भी कंपनी की शिकायत या दबिश के बाद ठोस कार्रवाई नहीं कर पाई है। मंगलवार को भी नीलगंगा पुलिस ने माधव क्लब रोड स्थित ऐसे ही ऑफिस पर दबिश दी और तीन युवकों को पकड़ा लेकिन बाद में क्या हुआ थाने में ही किसी को जानकारी नहीं है।
सेबी से लेना होता है लायसेंस
शेयर मार्केट में इन्वेस्ट करने या एडवायजरी ऑफिस संचालित करने के लिये सेबी से लायसेंस लेना अनिवार्य होता है, लेकिन शहर में संचालित हो रही एडवायजरी कंपनियों के पास लायसेंस है या नहीं इसकी जानकारी तक पुलिस को नहीं है।
कब कौन सी कंपनी लोगों के रुपये लेकर बंद हो जाए और संचालक भाग जाएं इसका भी कोई भरोसा नहीं है। ऐसी कंपनियां बंद कमरों में नहीं बल्कि मुख्य बाजारों और कॉम्पलेक्स में संचालित हो रही हैं। जहां अत्यधुनिक ऑफिस में लड़के-लड़कियों को कम्प्यूटर, लेपटॉप आदि देकर काम कराया जा रहा है।
मुखबिर की सूचना पर ही पहुंची थी पुलिस
माधव क्लब रोड स्थित कॉम्पलेक्स में संचालित एडवायजरी कंपनी के ऑफिस पर पुलिस ने मुखबिर की सूचना बताकर ही छापा मारा था। यहां से तीन युवकों को भी पकड़ा और थाने लाये लेकिन उसके बाद क्या हुआ इसकी जानकारी थाने के स्टाफ को भी नहीं है। इस संबंध में थाना प्रभारी तरुण कुरील से चर्चा का प्रयास किया गया जिनका मोबाइल स्वीच ऑफ था।
पहले भी पकड़े थे लेकिन बाद में कुछ नहीं हुआ
माधवनगर थाना क्षेत्र में कुछ माह पूर्व तत्कालीन सीएसपी विनोद मीणा की टीम ने मुखबिर की सूचना पर इसी प्रकार की एडवायजरी कंपनी पर दबिश देकर यहां से आधा दर्जन लोगों को पकड़ा था। थाने लाकर पूछताछ की गई। बाद में दो लोगों पर धारा 151 में कार्रवाई भी की जिनकी दूसरे दिन जमानत हो गई। उस समय पुलिस ने कहा था कि एडवायजरी कंपनी के ऑफिस से दस्तावेज जब्त किये हैं जिनकी जांच सेबी को करना है। जांच रिपोर्ट मिलने के बाद ही केस दर्ज कर आगे की कार्रवाई करेंगे, लेकिन आज तक क्या रिपोर्ट मिली और क्या कार्रवाई हुई किसी को पता नहीं।