भारत में कृषि सिर्फ अनाज की खेती से कहीं आगे बढ़ चुकी है। अब भारत इम्पोर्ट पर निर्भरता को ख़त्म करते हुए एक्सपोर्ट की क्षमता हासिल करने में सफल हुआ है। स्टार्टअप के पास अनोखे आईडिया होते हैं। ये स्टार्टअप्स कृषि की समस्याओं को दूर करने के लिए नै टेक्नोलॉजी और एआई टूल्स का इस्तेमाल करते हैं। ये स्टार्टअप्स इनोवेशन के जरिये भारत के किसानों का काम आसान बना रहे हैं। चलिए ऐसे ही 5 स्टार्टअप्स के बारे में आपको बताते हैं।
Ninjacart: जून 2015 में तिरुकुमारन नागराजन, कार्तिस्वरन केके, आशुतोष विक्रम, शरथ लोगनाथन और वासुदेवन चिन्नाथम्बी द्वारा स्थापित, निंजाकार्ट की शुरुआत बी2सी हाइपरलोकल फूड डिलीवरी स्टार्टअप के रूप में हुई थी।
लाभ : वे किसानों को खुदरा विक्रेताओं, होटल, रेस्तरां और अन्य व्यवसायों से जोड़ते हैं, जिससे फलों और सब्जियों की कुशल सोर्सिंग और वितरण संभव हो पाता है। उनकी बेस्ड प्रोडक्शन सप्लाई बर्बादी को कम करने में मदद करती है और यह सुनिश्चित करती है कि क्वालिटी प्रोडक्ट बाजार तक पहुंचे।
AgroStar: 2013 में दो भाइयों शार्दुल शेठ और सितांशु शेठ द्वारा स्थापित, एग्रोस्टार किसानों को कृषि इनपुट खरीदने के लिए एक ऑनलाइन बाज़ार देता है।
लाभ: यह एग्रीटेक स्टार्टअप किसानों को उनकी फसलों का मैनेजमेंट करने और उनकी उपज बढ़ाने के बारे में विशेषज्ञों से सलाह दिलवाने में भी मदद करता है। अपने मोबाइल ऐप और कॉल सेंटर के माध्यम से, किसान उत्पाद खरीद सकते हैं, एक्सपर्ट एडवाइस ले सकते हैं और पर्सनलाइज़्ड सुझाव तक पहुंच सकते हैं।
DeHaat: DeHaat भारत में सबसे तेजी से बढ़ते एग्रीटेक स्टार्ट-अप में से एक है, जो किसानों को संपूर्ण समाधान और सेवाएं प्रदान करता है। उनके सेवा नेटवर्क वर्तमान में बिहार, उत्तर प्रदेश और ओडिशा फैला हुआ हैं।
लाभ: किसानों को कौन सी फसल लगानी है, कैसे उगानी है, इसकी जानकारी के लिए वन-स्टॉप शॉप मिल सकती है। और उन सभी को एक ही छत के नीचे उचित मूल्य पर कहां बेचा जाए।
Crofarm: क्रॉफार्म एक फार्म-टू-बिजनेस सप्लाई चेन स्टार्टअप है जिसे 2016 में ग्रोफर्स के पूर्व अधिकारियों द्वारा लॉन्च किया गया था। क्रॉफार्म सीधे किसानों से ताजे फल और सब्जियां खरीदता है और उन्हें ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों दुकानों में वितरित करता है। क्रॉफ़ार्म एआई-आधारित मांग पूर्वानुमान प्रणाली का उपयोग करके अपने खरीद निर्णय लेता है जो पिछले डेटा का एनालिसिस करता है।
लाभ: टेक्नोलॉजी शेल्फ लाइफ से इन्वेंट्री ट्रैकिंग में भी सहायता करती है, जो किसी प्रोडक्ट की एक्सपायरी डेट के करीब पहुंचने पर अलार्म बजाया करती है। क्रॉफार्म कस्टमर रिलेशन को मैनेज करने के लिए व्हाट्सएप-बेस्ड सीआरएम टूल का भी उपयोग करता है।
BharatAgri: पुणे में स्थित एग्रीटेक फर्म भारतएग्री , किसानों को उनकी खेती के तरीकों को आगे बढ़ाने में सहायता करने के लिए डिजिटल रूप से शिक्षित करना चाहती है। भारतएग्री फर्म मिट्टी का एनालिसिस, कीटनाशक ज्ञान और मौसम पर सलाह देती है। वे हाई प्रोडक्टिविटी की गारंटी के लिए मिट्टी का रेगुलर एनालिसिस करते हैं।
लाभ: इन-ऐप चैट सपोर्ट, इंटरएक्टिव वॉयस रिस्पॉन्स (आईवीआर), और व्हाट्सएप जैसी ऑफ़लाइन और ऑनलाइन टेक्निक के साथ, भारतएग्री खेती के हर चरण में किसानों का समर्थन करता है। यह हाल ही में किसानों को सेवाएं प्रदान करने के लिए बी2एफ (बिजनेस टू फार्मर) मॉडल में बदल गया है।
KhetiGaadi: एग्री-टेक फर्म खेतीगाड़ी पुणे में स्थित एक ऑनलाइन प्लेटफॉर्म विकसित कर रही है। अपने ऑनलाइन प्लेटफॉर्म पर खेतीगाड़ी हजारों किसानों को जोड़ती है। कृषि-ई-कॉमर्स बाज़ार के रूप में, यह किसानों, ट्रैक्टर निर्माताओं, ठेकेदारों, डीलरों, दलालों, सेवा केंद्रों और कृषि विशेषज्ञों को जोड़ता है।
लाभ: इस एग्रीटेक कंपनी की बदौलत भारतीय किसानों और अन्य कृषि पेशेवरों के लिए कृषि उपकरणों की खरीद, बिक्री और किराये आसान हो गए हैं। ये किसान की संपत्ति, उसके द्वारा उगाई जा रही फसल और अन्य मापदंडों की जांच करके किसान के खेत के लिए जरुरी डिवाइस को भी रेकमेंड करते हैं।