श्री राम जानकी मंदिर खाकी अखाड़ा में मना श्रीराम जन्मोत्सव
उज्जैन। संसार में सबसे बड़ा दुख जन्म लेना और मरना है। यह बात श्री गुरु पंचामृत नवम् पुष्प अमृत महोत्सव में चल रही श्रीराम कथा ज्ञान यज्ञ में कथा व्यास रामानंददास महाराज श्रीधाम अयोध्या
ने कही।
अभा श्री पंच रामानंदीय खाकी अखाड़ा के श्री महंत अर्जुनदास खाकी ने बताया कि श्री भगवान महाकाल की अध्यक्षता में श्री विभूषित साकेतवासी गुरुदेव भगवान रामदुलारेदासजी महाराज के नवम् साकेतोत्सव के उपलक्ष्य में श्री गुरु पंचामृत नवम् पुष्प अमृत महोत्सव में मंगलनाथ रोड स्थित अंकपात चौराहे पर श्री राम जानकी मंदिर खाकी अखाड़ा में राम कथा का आयोजन प्रतिदिन दोपहर 2 बजे से किया जा रहा है। कथा में गुरुवार को श्रीराम जन्मोत्सव की कथा सुनाई। कथा पंडाल ‘सीता राम-सीता राम के भजनों से गूंज उठा और भक्तों ने भगवान श्रीराम के जयकारे लगाए। कथा में श्री रामानंददास महाराज ने कहा कि जिस दिन भगवान गर्भ में आए, दुष्टों को छोड़कर सभी सुखी
हो गए।