प्रसूति के बाद अधिक ब्लडिंग से रात में हुई थी बेटी की मौत…
उज्जैन।जिला अस्पताल का पोस्टमार्टम रूम। एम्बुलेंस में महिला का शव। परिजनों ने एम्बुलेंस से शव उठाकर मैजिक वाहन में रखा और पुलिसकर्मी से पोस्टमार्टम नहीं कराने का कहकर शव लेकर चल दिये। पुलिसकर्मी ने वायरलेस सेट पर अफसरों को जानकारी दी। दो थानों की पुलिस ने मैजिक को चरक अस्पताल के सामने रोका। करीब 30 मिनिट की मशक्कत और समझाईश के बाद मैजिक में रखे महिला के शव को पीएम के लिये जिला अस्पताल भिजवाया।
कोमल पति कमल 22 वर्ष निवासी सुनेरा तराना को पहली बार डिलेवरी होना थी। परिजनों ने रात डेढ़ बजे कोमल को तराना के सरकारी अस्पताल में भर्ती कराया जहां उसने शिशु को जन्म दिया। प्रसूति के दौरान अधिक ब्लडिंग होने के कारण कोमल को चरक अस्पताल रैफर किया गया।
यहां कुछ देर भर्ती रखने के बाद भी कोमल की हालत में सुधार नहीं हुआ। उसके शिशु को डॉक्टर ने आईसीयू में भर्ती कर लिया और कोमल को इंदौर रैफर किया। परिजन उसे इंदौर नहीं ले गये और शहर के दो प्रायवेट अस्पतालों में उपचार के लिये लेकर पहुंचे एक जगह डॉक्टर नहीं मिला दूसरे अस्पताल गये तो परीक्षण के बाद मृत घोषित कर दिया।
अस्पताल में हुई लापरवाही, इसलिये नहीं कराना चाहते पीएम….कोमल के पिता और परिजनों ने बताया कि पहले तराना अस्पताल फिर चरक अस्पताल में डॉक्टरों ने लापरवाही की जिस कारण उसकी मौत हो गई और अब पोस्टमार्टम कर रहे हैं। कोमल के मायके और ससुराल पक्ष के लोग यहीं मौजूद हैं। हम लिखकर देने को तैयार हैं कि पोस्टमार्टम नहीं कराना फिर पुलिस जबरन पीएम कराने पर अड़ी हुई है।
टीआई बोले…पीएम रिपोर्ट ही तुम्हारे काम आएगी….कोमल के पिता मदन और पति कमल शव का पोस्टमार्टम कराने को तैयार नहीं थे। चरक अस्पताल के सामने पुलिस ने मैजिक वाहन को रोक लिया तो परिजन जिद पर अड़ गये कि पोस्टमार्टम नहीं कराएंगे।
पिता सड़क पर बैठकर नाक रगडऩे लगा, पुलिसकर्मियों के हाथ जोड़े पैर भी पड़े इस दौरान मौके पर पहुंचे जीवाजीगंज थाना प्रभारी गगन बादल ने परिजनों को समझाया कि पोस्टमार्टम रिपोर्ट आपके काम आयेगी।
कोमल की मृत्यु के सही कारणों का पता भी लगेगा। करीब 30 मिनिट तक चली बहस और समझाईश के बीच कोतवाली थाना प्रभारी भी यहां पहुंच गये। दो थाना प्रभारियों की हिदायत के बाद परिजन शव का पोस्टमार्टम कराने को तैयार हुए।