लोकसभा में घुसपैठ मामले में छठा आरोपी पकड़ाया,आत्मदाह करना चाहते थे

लोकसभा में घुसपैठ मामले में छठा आरोपी पकड़ाया,

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लोकसभा में घुसपैठ मामले में शनिवार 16 दिसंबर को एक और आरोपी महेश कुमावत को गिरफ्तार कर लिया गया। अब तक छह लोग पकड़े गए हैं। 13 दिसंबर को 4 आरोपी पकड़े गए थे। ललित झा ने 14 दिसंबर को सरेंडर किया था। मामले में विकी शर्मा और उसकी पत्नी राखी को हिरासत में लेकर पूछताछ की गई थी, बाद में उन्हें छोड़ दिया गया। विकी के गुड़गांव स्थित घर पर ही चार आरोपी रुके थे।

इस बीच, कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने शनिवार को कहा कि यह घटना बेरोजगारी और महंगाई की वजह से हुई है। उधर, दिल्ली पुलिस के सूत्रों के मुताबिक, लोकसभा की दर्शक दीर्घा से कूदने वाले सागर शर्मा और मनोरंजन एक या दो नहीं, बल्कि 7 स्मोक केन (धुआं फैलाने वाला उपकरण) लेकर गए थे।

पुलिस की तरफ से ये भी बताया गया है कि आरोपियों ने संसद के आसपास के इलाके की गूगल के जरिए रेकी की थी। वे लोग कई चीजों से वाकिफ थे। यही नहीं, संसद का सिक्योरिटी अरेंजमेंट पता करने के लिए उन्होंने पुराने वीडियोज भी देखे थे। आरोपियों की संसद के बाहर आत्मदाह करने की भी प्लानिंग थी।

2001 में इसी दिन संसद पर हमला

13 दिसंबर 2001 को संसद में विंटर सेशन चल रहा था। महिला आरक्षण बिल पर हंगामे के बाद 11:02 पर संसद को स्थगित कर दिया गया। इसके बाद उस समय के प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी और विपक्ष की नेता सोनिया गांधी संसद से जा चुके थे।

करीब साढ़े ग्यारह बजे उपराष्ट्रपति के सिक्योरिटी गार्ड उनके बाहर आने का इंतजार कर रहे थे और तभी सफेद एंबेसडर में सवार 5 आतंकी गेट नंबर-12 से संसद के अंदर घुस गए। उस समय सिक्योरिटी गार्ड निहत्थे हुआ करते थे।

ये सब देखकर सिक्योरिटी गार्ड ने उस एंबेसडर कार के पीछे दौड़ लगा दी। तभी आतंकियों की कार उपराष्ट्रपति की कार से टकरा गई। घबराकर आतंकियों ने अंधाधुंध फायरिंग शुरू कर दी। आतंकियों के पास एके-47 और हैंडग्रेनेड थे, जबकि सिक्योरिटी गार्ड निहत्थे थे।

संसद में मौजूद थे आडवाणी, प्रमोद महाजन और कई पत्रकार

गोलियों की आवाज सुनते ही CRPF की एक बटालियन भी एक्टिव हो गई। उस वक्त संसद में देश के गृह मंत्री लालकृष्ण आडवाणी, प्रमोद महाजन समेत कई बड़े नेता और पत्रकार मौजूद थे। सभी को अंदर ही सुरक्षित रहने को कहा गया।

इस बीच एक आतंकी ने गेट नंबर-1 से सदन में घुसने की कोशिश की, लेकिन सिक्योरिटी फोर्सेज ने उसे वहीं मार गिराया। इसके बाद उसके शरीर पर लगे बम में भी ब्लास्ट हो गया। बाकी के 4 आतंकियों ने गेट नंबर-4 से सदन में घुसने की कोशिश की, लेकिन इनमें से 3 आतंकियों को वहीं पर मार दिया गया। इसके बाद बचे हुए आखिरी आतंकी ने गेट नंबर-5 की तरफ दौड़ लगाई, लेकिन वो भी जवानों की गोली का शिकार हो गया। जवानों और आतंकियों के बीच 11:30 बजे शुरू हुई ये मुठभेड़ शाम को 4 बजे खत्म हुई।

आतंकी अफजल गुरु को फांसी मिली

संसद पर हमले के दो दिन बाद ही 15 दिसंबर 2001 को मास्टरमाइंड अफजल गुरु, एसएआर गिलानी, अफशान गुरु और शौकत हुसैन को गिरफ्तार कर लिया गया। बाद में सुप्रीम कोर्ट ने गिलानी और अफशान को बरी कर दिया, लेकिन अफजल गुरु की मौत की सजा को बरकरार रखा।

शौकत हुसैन की मौत की सजा को भी घटा दिया और 10 साल की सजा का फैसला सुनाया। 9 फरवरी 2013 को अफजल गुरु को दिल्ली की तिहाड़ जेल में सुबह 8 बजे फांसी पर लटका दिया गया।

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