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विधानसभा चुनाव तैयारी,वीवीपैट के हर मूवमेंट पर नजर रखेगा चुनाव आयोग

जीपीएस से लैस होंगे ईवीएम मशीनों के परिवहन वाले वाहन

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अक्षरविश्व न्यूज . उज्जैन भारत निर्वाचन आयोग विधानसभा चुनाव के दौरान खास मतदान केंद्रों में वोट डालने के पहले और बाद में ईवीएम और वीवीपैट के हर मूवमेंट की जानकारी चुनाव आयोग रखेगा। इसके लिए आयोग ने तय किया है कि इन मशीनों के परिवहन वाले वाहनों को जीपीएस से लैस किया जाएगा।

इसी तारतम्य में प्रदेश के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी के वाहनों में जीपीएस लगाकर उसमें ईवीएम और वीवीपैट को लाने ले जाने का काम किया जाएगा। इसके बाद इन वाहनों की मोबाइल के साथ वेब एप्लीकेशन के माध्यम से मॉनिटरिंग की जा सकेगी। बताया जाता है कि यह जीपीएस टेंडर एक साल तक प्रभावी रहेगा और लोकसभा चुनावों में भी इस व्यवस्था का उपयोग किया जाएगा।

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हर जिले में बनेंगे बूथ लेवल अवेयरनेस ग्रुप

विधानसभा निर्वाचन को दृष्टिगत रखते हुए कलेक्टरों को दिए निर्देश में कहा है कि जिलों में सभी रिटर्निंग अफसर एवं अनुविभागीय अधिकारी राजस्व को हर बूथ पर बूथ लेवल अवेयरनेस ग्रुप का गठन करना है। बूथ लेवल अवेयरनेस ग्रुप प्रत्येक बूथ में स्थापित किए जाएंगे, जिसके बीएलओ सदस्य सचिव रहेंगे तथा बूथ स्तरीय सरकारी कर्मचारी, बूथ लेवल सहायक, बूथ क्षेत्र में विद्यालयों एवं महाविद्यालयों के प्रमुख या प्रतिनिधि, एनएसएस, एनवाईके, स्वयंसेवी तथा स्थानीय सीएलओ, एनजीओ के सदस्य आदि प्रतिनिधि सदस्य होंगे।

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बूथ लेवल सहायकों से भिन्न सदस्य जो किसी राजनीतिक दल से संबद्ध हैं, ग्रुप में नहीं हों। इसे ध्यान में रखने के निर्देश दिए गए हैं। इसके लिए जिलों में बनाए जाने वाले नोडल अधिकारियों के लिए जो जिम्मेदारी तय की गई है उसमें कहा गया है कि बूथ जागरुकता समूह को क्रियाशील करने तथा अपने पर्यवेक्षण में बैठकें आयोजित कर अधिकारियों को मोबिलाइजेशन क्रियाकलापों में भाग लेनेे का काम कराया जाएगा। साथ ही बूथ जागरुकता समूह निर्वाचन प्रक्रिया के बारे में सूचना का प्रचार प्रसार करनेे, निर्वाचन साक्षरता के विषय पर नुक्कड़ नाटक आयोजित करने तथा अन्य गतिविधियाँ संचालित करने के लिए निर्देशित किया है।

ईवीएम का रेंडमाइजेशन

चुनाव कार्यक्रम घोषित होने के बाद ईवीएम का रेंडमाइजेशन किया गया है। प्रदेश के सभी बूथों में जाने वाली इन मशीनों का प्रथम रेंडमाइजेशन एक साथ सभी जिलों मे करने के निर्देश चुनाव आयोग ने दिए हैं। प्रथम रेंडमाईजेशन प्रक्रिया के बाद यह तय हो जाएगा कि जिलों में उपलब्ध ईवीएम एवं वीवीपैट मशीन में से किस किस क्रमांक की मशीन किस विधानसभा क्षेत्र के लिए जाएगी।

किस क्रमांक की मशीन रिजर्व में रहेगी। रेंडमाइजेशन के बाद विधानसभा क्षेत्र के लिए आवंटित ईवीएम एवं वीवीपेट मशीनों को विधानसभा क्षेत्र के लिए तय स्ट्रांग रूम में सुरक्षित रखा जाएगा। द्वितीय रेंडमाइजेशन में यह तय होगा कि विधानसभा क्षेत्र के लिए आवंटित ईवीएम एवं वीवीपैट मशीन में से किस क्रमांक की मशीन किस मतदान केन्द्र पर जाएगी रेंडमाइजेशन का कार्य ईवीएम ट्रैकिंग सॉफ्टवेयर के माध्यम से किया जाता है।

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