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जन्म व मृत्यु प्रमाण पत्र बनने में आ रही दिक्कत

नए पोर्टल ने परेशानी दूर करने के बजाय बढ़ा दी

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अक्षरविश्व न्यूज. उज्जैन:जन्म एवं मृत्यु प्रमाण पत्र बनाने के लिए बनाए गए नए पोर्टल ने परेशानी दूर करने के बजाय बढ़ा दी। मार्च माह से पहले के जन्म एवं मृत्यु प्रमाण पत्र बनवाने पहुंच रहे लोगों को वापस लौटना पड़ रहा है। दरअसल पोर्टल पुराना डाटा नहीं दिखा रहा है जिससे प्रमाण पत्र नहीं बन पा रहे हैं। इस कारण रोजाना लोग प्रमाण पत्र के लिए आवेदन जमा किए बिना ही वापस लौट रहे हैं।

 

पुराने जन्म और मृत्यु प्रमाण के ढेरों आवेदन एमआरडी शाखा में पड़े हैं। वर्ष 2023 में जन्में बच्चों के जन्म प्रमाण पत्र के आधा सैंकड़ा आवेदन पेडिंग हैं। नए पोर्टल के फेर में यह प्रमाण पत्र नहीं बन पा रहे हैं। मार्च माह से पहले के जितने भी प्रमाण पत्र हैं उनको एमडीआर शाखा नहीं बना पा रही है।

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पोर्टल में आने वाली दिक्कतों को दूर करने के लिए पत्र लिखे गए हैं, लेकिन अब तक व्यवस्था में सुधार नहीं हो सका है। जिससे लोगों को असुविधा का सामना करना पड़ रहा है। जबकि नया पोर्टल लोगों को असुविधा से बचाने के लिए लांच किया गया था।बता दें कि सरकार के योजना एवं सांख्यिकी विभाग ने जन्म-मृत्यु प्रमाण पत्र के लिए नई व्यवस्था लागू कर दी है। कई बार लोग जरूरत पडऩे पर ही जन्म-मृत्यु प्रमाण पत्र बनवाने के लिए शासकीय कार्यालयों में पहुंचते हैं, लेकिन अब यह देरी उन्हें महंगी पड़ेगी।

नई व्यवस्था में 21 दिन बाद एक माह के भीतर प्रमाणपत्र बनवाएंगे तो 12 रुपये विलंब शुल्क देना होगा। एक माह बाद से एक वर्ष के भीतर 55 रुपये, एक वर्ष बाद 60 रुपये विलंब शुल्क देना होगा, साथ ही एसडीएम का आदेश भी इसके साथ लगेगा, यानी 10 वर्ष बाद बच्चे का जन्म – प्रमाण पत्र बनवाने जाएंगे तो 600 रुपये तक विलंब शुल्क देना होगा। यही व्यवस्था मृत्यु प्रमाण पत्र में भी लागू होगी। इसमें सात दिन के बाद विलंब शुल्क देना होगा।

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