मंगलनाथ में फिर हादसे की आशंका

नवरात्रि के पहले दिन जो गिरा वो हरा था, जो हादसे का सबब बनेगा वह सूखा है
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पेड़ों के आसपास सीमेंट-कांक्रीट, पत्थर लगाने से जड़ों को नहीं मिल रही फैलने की जगह

अक्षरविश्व न्यूज उज्जैन। मंगल ग्रह की उत्पत्ति स्थल मंगलनाथ मंदिर परिसर में नवरात्रि के पहले दिन नीम का हराभरा पेड़ा तने से टूटकर धराशायी हो गया। जिस समय पेड़ गिरा उस वक्त वहां हवन चल रहा था। इसमें एक श्रद्धालु को चोट लगी लेकिन इसकी पुष्टि किसी ने नहीं की। शनिवार को अक्षर विश्व टीम पेड़ गिरने का कारण जानने मंदिर पहुंची तो हादसे वाली जगह पर एक और सूखा पेड़ गिरने की स्थिति में मिला। इसी के आसपास से श्रद्धालु भी निकल रहे थे। ऐसे में शायद मंदिर प्रशासन एक और हादसे का इंतजार कर रहा है।
प्रशासक को पता ही नहीं
हादसे के संबंध में जब मंदिर प्रशासक केके पाठक से चर्चा की तो उन्होंने टूटे पेड़ को उस पेड़ का हिस्सा बता दिया जो उससे कुछ दूरी पर लगा है और पूरी तरह से सूख चुका है। वह बार-बार अपनी बात दोहराकर बचने का प्रयास करते रहे। ऐसे में सवाल यह है कि जो पेड़ गिरा वह हराभरा था और जो खड़ा है, वह पूरी तरह सूख चुका है तो दोनों एक कैसे हो सकते हैं। हालांकि, सच्चाई यह है कि दोनों पेड़ अलग हैं और अलग-अलग जगह पर हैं।
इनका कहना है
जो पेड़ गिरा वह उसी पेड़ का हिस्सा है जो सूख चुका है। नगर निगम की टीम को कह दिया है वह पेड़ काटकर ले जाएगी।
केके पाठक, प्रशासक, मंगलनाथ मंदिर








