पूर्व पार्षद गुड्डू कलीम की बैडरूम में घुसकर हत्या

सात दिन पहले मॉर्निंग वॉक के समय हमले में बाल-बाल बचे थे
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पत्नी-बेटे और नजदीकी रिश्तेदार हिरासत में, प्रॉपर्टी विवाद का मामला

अक्षरविश्व न्यूज उज्जैन। सात दिन पहले जानलेवा हमले में बाल-बाल बचे पूर्व पार्षद गुड्डू कलीम की शुक्रवार तडक़े बैडरूम में घुसकर गोली मारकर हत्या कर दी गई। पुलिस ने उनकी पत्नी, दो बेटे और एक नजदीकी रिश्तेदार को हिरासत में लिया है। प्रॉपर्टी के बंटवारे में हत्या किए जाने की आशंका है।
गुड्डू कलीम पर 4 अक्टूबर को जानलेवा हमला करने की उस वक्त कोशिश की गई थी जब वह मॉर्निंग वॉक कर रूचि गार्डन के सामने से होते हुए अपनी होटल की तरफ लौट रहे थे। अचानक कार से उतरे युवक ने उन पर फायर कर दिया था। कूद कर उन्होंने अपनी जान बचाई थी। इस सिलसिले में उन्होंने नीलंगगा थाने में आवेदन दिया था और नजदीकी रिश्तेदार पर हमला करने की आशंका जताई थी। इस सिलसिले में पुलिस ने गुरुवार को नजदीकी रिश्तेदार अरबाज को हिरासत में लिया था।
गुड्डू कलीम के सामने बैठाकर ही उससे नीलगंगा थाने में पूछताछ की जा रही थी। गुरुवार रात 2 बजे कलीम नीलगंगा थाने से होटल लौटे थे। यहां से वह घर गए थे। तडक़े बैडरूम में गोली मारकर उनकी हत्या कर दी गई। पुलिस ने उनकी पत्नी नीलोफर, बेटे आशिफ उर्फ मिंटू, दानिश और रिश्तेदार अरबाज को हिरासत में लिया है। इनसे पूछताछ की जा रही है। परिवार में प्रॉपर्टी बंटवारे का विवाद सामने आ रहा है। गुड्डू का इसे लेकर पत्नी और बेटों से विवाद चल रहा था। -पेज १० भी पढ़ें…
पत्नी-बेटे हिरासत में
नीलोफर तीन दिन पहले ही अपने इंदौर स्थित मायके से लौटी थी। घटना के समय वह बैडरूम में ही थी। ऐसे में उसकी और बेटों की भूमिका की जांच की जा रही है। यह हिरासत में है। शव पीएम के लिए जिला अस्पताल भेजा गया है।
-प्रदीप शर्मा, एसपी
प्रॉपर्टी में भतीजे को हिस्सा देने से बेहद खफा थे पत्नी और दोनों बेटे
भतीजे को बेटे की तरह पाला था गुड्डू कलीम ने, साये की तरह रहता था साथ
अक्षरविश्व न्यूज उज्जैन। पूर्व पार्षद गुड्डू कलीम की हत्या का मुख्य कारण प्रॉपर्टी विवाद माना जा रहा है। सूत्रों के मुताबिक गुड्डू अपनी प्रॉपर्टी के तीन हिस्से करना चाहते थे। इसे वह अपने दोनों पुत्र और भतीजे में बराबर-बराबर बांटना चाहते थे। इसी बात को लेकर परिवार में अनबन चल रही थी। इसी के चलते पत्नी नीलोफर इंदौर के आजाद नगर स्थित मायके चली गई थी। तीन दिन पहले ही गुड्डू कलीम उसे वापस लेकर घर लौटे थे।
रात 3.30बजे तक दोस्तों के साथ था
गुड्डू के भांजे जम्मू के मुताबिक नीलगंगा थाने से लौटने के बाद गुड्डू रात 3.30बजे तक होटल के गार्डन में दोस्तों के साथ ही बैठे थे और अपने पर हुए हमले की चर्चा कर रहे थे। उन्हें उम्मीद थी कि सुबह हमले वाले मामले का पटाक्षेप हो जाएगा। रात ३.३० बजे जब वह घर पहुंचे तो पत्नी नीलोफर से विवाद हुआ और वह घर के भीतर चले गए। थोड़ी देर बाद नीलोफर और बेटे बाहर निकले और कहने लगे कि मार डाला।
55 लाख रुपए नकद नहीं मिले
नसरूद्दीन ने बताया कि कलीम कैश लेनदेन के रुपए उनके पास ही रखते थे। कलीम के पास किसी मामले में 55 लाख रुपए नकद आए थे। इस कारण उन्होंने मुझे रुपए लेने बुलाया था लेकिन घर में तनाव का माहौल था। कलीम के हाथ में चोट के कारण वह घर में ही रुक गए थे। घटना के बाद घर में रखे रुपए भी नहीं मिले।
भांजा जमाई की जुबानी, घटनाक्रम की कहानी…
पत्नी नीलोफार को देखकर कलीम ने गालियां दीं और बोले तुझे तो मैं सुबह देख लूंगा। सुबह करीब 5 बजे बेडरूम से गोली चलने की आवाज सुनी। चढ़ाव से बैडरूम पहुंचा, दरवाजा अंदर से बंद था। मैं लात मारकर दरवाजा तोड़ता उसके पहले कमरे से नीलोफर और छोटा बेटा दानिश बाहर निकले। नीलोफर चिल्ला रही थी मार दिया, मार दिया। मैंने कमरे में पहुंचकर देखा गुड्डू कलीम की लाश पड़ी थी। भेजा बाहर निकल गया था। गोली चलने से कमरे में धुआं-धुआं फैला हुआ था। जिस पिस्टल से गोली चली थी, वह वहां नहीं थी, जबकि मामू की पिस्टल पास ही रखी थी।
अपराध जगत से पहचान के बाद पार्षद भी बने, अकेले नीलगंगा थाने में ही 32 के करीब अपराध दर्ज थे
पुलिस के मुताबिक गुड्डू कलीम का अपराध जगत से नाता रहा। उनके खिलाफ अकेले नीलगंगा थाने में ही करीब 32 अपराध दर्ज हैं। इससे पहचान मिलने के बाद उन्होंने वार्ड 31 से पार्षद का निर्दलीय चुनाव लड़ा और जीत हासिल की। वर्ष 2000 में पार्षद बनने के बाद वह एमआईसी सदस्य चुने गए और स्वास्थ्य समिति प्रभारी रहे। उनकी होटल प्रेसिडेंट सरकारी जमीन पर बनाने का विवाद सामने आया। नगर निगम ने इसे तोडऩे की कार्रवाई भी की। हालांकि, बाद में यह होटल फिर तैयार हो गया। इसी तरह मन्नत गार्डन की जमीन भी कलीम के कब्जे से छुड़ाई गई थी।
होटल प्रेसिडेंट सहित अथाह प्रॉपर्टी
गुड्डू कलीम के पास अथाह प्रॉपर्टी है। इसमेें हरिफाटक स्थित होटल प्रेसिडेंट प्रमुख है। आसपास के गांवों में जमीन और इंदौर, आगर, देवास में भी प्रॉपर्टी है। इनका बंटवारा ही परिवार में विवाद का कारण बना हुआ था। गुड्डू के दो बेटे हैं। इनके नाम आसिफ उर्फ मिंटू और दानिश हैं। दानिश परिवार से अलग कोटमोहल्ला में रहता है, जबकि मिंटू साथ में। गुड्डू ने अपने भतीजे आरिफ को भी बेटे की तरह पाला है और वह भी साथ ही रहता है।
गुड्डू उसे भी बराबर को हिस्सा देना चाहते थे। उनके भांजा जमाई नसरूद्दीन उर्फ जम्मू निवासी शाजापुर ने बताया कि कलीम हज यात्रा पर जाना चाहते थे। इसके पहले वह अपनी प्रॉपर्टी पत्नी, बेटे व भतीजे को देना चाहते थे। कुछ दिनों से उनके घर में इसी को लेकर चर्चा चल रही थी। वह पिपलोन की 40 बीघा जमीन भतीजे आरिफ, होटल प्रेसिडेंट बड़े बेटे आसिफ उर्फ मिंटू को देना चाहते थे। इस बात को लेकर छोटा बेटा दानिश नाराज था।
सूचना मिलते ही पुलिस ने मां-बेटों को पकड़ा
गुड्डू कलीम की बहन शकीला ने कहा कि गोली चलने की आवाज के बाद घर में चीख-पुकार मच गई। इसी बीच किसी ने पुलिस को भी सूचना दे दी। घर में मौजूद नीलोफर, बड़े बेटे आसिफ उर्फ मिंटू, छोटे बेटे दानिश को घरवालों ने पकडऩे की कोशिश की लेकिन वह भागकर बाहर पहुंचे तभी पुलिस आ गई और तीनों को पकड़ लिया।








