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कछुआ बनो और स्ट्रेस को मैनेज करो

आईएएस श्रेयांस कुमट ने प्रतियोगी परीक्षार्थियों को समझाया स्टडी प्लान और बेसिक क्लियर करने के मंत्र

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उज्जैन। जिला पंचायत सीईओ श्रेयांस कुमट (आईएएस) ने रविवार को जिला ग्रंथालय के सभागार में प्रतियोगी एवं बोर्ड परीक्षाओं की तैयारी कर रहे विद्यार्थियों के साथ संवाद किया। उन्होंने इफेक्टिव स्टडी प्लान और स्ट्रेस मैनेजमेंट पर मार्गदर्शन दिया।

सीईओ कुमट ने विद्यार्थियों को तैयारी के लिए एक व्यवस्थित क्रम समझाया। सोचें-सबसे पहले क्यों और क्या (लक्ष्य और पाठ्यक्रम) पर विचार करें। कछुआ बनें- उन्होंने कछुआ और खरगोश की कहानी का उदाहरण देते हुए कछुआ बनने और निरंतरता बनाए रखने की सलाह दी। नोटिफिकेशन को समझें-परीक्षा कब है, यह नोटिफिकेशन से पता चलेगा, जो बहुत महत्वपूर्ण है। इसमें पाठ्यक्रम, शर्तें और उत्तर देने का तरीका अच्छे से समझ लें। पिछले 5 से 7 वर्ष के प्रश्न पत्रों को पैटर्न के अनुसार देखें और समझें।

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इस अवसर पर एडीपीसी गिरीश तिवारी, आईटी को-ऑर्डिनेटर अनीश पांड और पुस्तकालय अध्यक्ष गनी कुरैशी मौजूद थे।

सीईओ की विद्यार्थियों को जरूरी सलाह

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टॉपर्स की स्ट्रेटेजी टॉपर्स की स्ट्रेटेजी यू ट्यूब पर देखें, लेकिन चयनित रूप से देखें, क्योंकि हर किसी की रणनीति आप पर लागू हो, यह जरूरी नहीं है। सही किताबों का चयन, बुक लिस्ट सर्च करें और विषय अनुसार कलेक्ट करें।

बेसिक क्लियर करने पर जो पढऩा शुरू करने से पहले अपना बेसिक क्लियर करें। तैयारी के लिए बेस एनसीईआरटी की किताबों से ही तैयार करें। अपने कॉन्सेप्ट एवं डिटेल के लिए अलग-अलग प्लान बनाएँ और शॉर्ट नोट तैयार करें।

समय प्रबंधन और मॉक टेस्ट के टिप्स
सीईओ ने अभ्यास और मानसिक तैयारी के लिए सुझाव देते हुए बताया कि टाइम टेबल बनाएं और परीक्षा का माहौल बनाकर मॉक टेस्ट दें। मॉक टेस्ट में मुख्य फोकस पूरा पेपर समय पर करने पर होना चाहिए। गलतियाँ निकाल कर डिस्कस करें और पियर लर्निंग का कॉन्सेप्ट अपनाएँ। जो टॉपिक मजबूत है, उस पर कम ध्यान दें और जो वीक है, उस पर ज्यादा रिवीजन करें। मॉक टेस्ट के माध्यम से अपनी कमजोरी दूर करें।

स्ट्रेस मैनेजमेंट
परीक्षा के समय स्ट्रेस नहीं रखना चाहिए। परीक्षा केंद्र को पहले से जाकर अवश्य देख लें। स्ट्रेस महसूस होने पर दोस्त या पारिवारिक सदस्य का सहयोग लें। उन्होंने विद्यार्थियों को परिस्थितियों से लडऩे, हमेशा खुश रहने और तरीके निकालते रहने की प्रेरणा दी।

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