विद्यार्थियों के लिए ड्रेसकोड लागू, बस का शुल्क देना अनिवार्य

प्रत्येक संभाग के एक प्रधानमंत्री कॉलेज ऑफ एक्सीलेंस को आदर्श संस्थान बनाया जाएगा
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अक्षरविश्व न्यूज. उज्जैन प्रदेश सरकार द्वारा तय 55 प्रधानमंत्री कॉलेज ऑफ एक्सीलेंस अधोसंरचना विकास, भवन और छात्रावास विस्तार, लैंग्वेज व स्किल डेवलपमेंट लैब और उपकरणों समेत अन्य सुविधाओं में 366 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। प्रत्येक संभाग के एक प्रधानमंत्री कॉलेज ऑफ एक्सीलेंस को आदर्श संस्थान बनाया जाएगा, जो अन्य कॉलेजों के लिए मॉडल का काम करेंगे। विद्यार्थियों के लिए एक अगस्त से ड्रेस कोड लागू होने जा रहा है। इसमें छात्र ग्रे कलर का शर्ट और ब्लैक कलर का पैंट और छात्राएं ग्रे कलर और ब्लैक कलर के सलवार-कमीज में आएंगी। इसके साथ विद्यार्थी बस सुविधा का उपयोग करें या नहीं करें, उन्हें 30 रुपए प्रतिमाह का शुल्क जमा करना होगा।

प्रदेश के 55 सरकारी कॉलेजों को प्रधानमंत्री कॉलेज ऑफ एक्सीलेंस के रूप में चयनित किया गया है। इन कॉलेजों में गुणवत्ता पूर्ण शिक्षा के साथ राष्ट्रीय शिक्षा नीति की अवधारणा के तहत पढ़ाई होगी। उज्जैन संभाग में सात कॉलेज का चयन प्रधानमंत्री कॉलेज ऑफ एक्सीलेंस में किया गया है। इसमें शासकीय माधव आर्ट एंड कामर्स कॉलेज उज्जैन, शासकीय पीजी कॉलेज मंदसौर, शासकीय पीजी कॉलेज शाजापुर, शासकीय पीजी कॉलेज नीमच, शासकीय पीजी कॉलेज आगर-मालवा, शासकीय पीजी कॉलेज देवास और शासकीय आर्ट एंड साइंस कॉलेज रतलाम शामिल है। प्रत्येक संभाग के एक प्रधानमंत्री कॉलेज ऑफ एक्सीलेंस को आदर्श संस्थान बनाया जाएगा।
ग्रे कलर का शर्ट और ब्लैक पैंट
इन सभी कॉलेजों के विद्यार्थियों के लिए इस सत्र से ड्रेसकोड लागू किया गया है। एक अगस्त से विद्यार्थी एक समान एक रंग के ड्रेस में कॉलेज आएंगे। छात्र ग्रे कलर का शर्ट और ब्लैक कलर का पैंट और छात्राएं ग्रे कलर और ब्लैक कलर के सलवार-कमीज में आएंगी ।
30 रु. में महीने भर बस से कॉलेज जाएंगे विद्यार्थी
प्रदेश में प्रधानमंत्री कॉलेज ऑफ एक्सीलेंस 14 जुलाई से खुल गए हैं। यहां बस सर्विस की शुरुआत भी हो गई है। बस के रूट और राउंड भी भी तय कर दिए गए हैं। कालेज की जनभागीदारी समिति बस सेवा उपलब्ध कराएगी। बड़े कॉलेजों में दो बसें शुरू की गई है। बस सेवा के लिए जनभागीदारी समिति विद्यार्थी से हर माह 30 रुपए शुल्क लेगी। सबसे खास बात यह है कि बस का शुल्क हर विद्यार्थी से लिया जाएगा। भले ही वे इस सुविधा का उपयोग करें या न करें।








