लव जिहाद के केस में फंडिंग का एंगल तलाश रही पुलिस

उज्जैन। शहर में एक के बाद एक लगातार लव जिहाद से जुड़े तीन मामले सामने आने के बाद पुलिस अब इस तरह के प्रकरणों में फंडिंग के एंगल पर भी जांच कर रही है। प्रदेश में भोपाल और इंदौर में पहले ऐसे केस सामने आ चुके हैं जिनमें लव जिहाद से जुड़े आरोपियों को कथित तौर पर धन मुहैया करवाया गया था।
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दो दिन पहले महाकाल पुलिस ने सारंगपुर जिला राजगढ़ के रहने वाले समीर नामक युवक को लव जिहाद से जुड़े मामले में गिरफ्तार किया है। समीर दो दिन के पुलिस रिमांड पर था। शुक्रवार दोपहर में उसे फिर से कोर्ट में पेश किया जाएगा। पुलिस की जानकारी में आया है कि समीर कुछ वक्त पहले तक उज्जैन में ही एक होटल में तनख्वाह पर काम किया करता था। एक साल पहले उसने कोट मोहल्ला में रहने वाले मोहम्मद इरफान से न्यू परी पैलेस गेस्ट हाउस को 11 महीने का अनुबंध कर किराए पर लिया था।
यह अनुबंध एक महीने पहले ही समाप्त हो चुका है। होटल पर काम करने वाला समीर एक साथ इतने रुपए कहां से लाया कि उसने 60 हजार रुपए महीने पर होटल भी किराए पर ले ली और यहां स्टाफ भी नौकरी पर रख लिया। यही पुलिस की जांच का एंगल है। इस प्रकरण में चूंकि होटल का अनुबंध एक महीने पहले ही खत्म चुका था, लिहाजा पुलिस ने इस मामले में होटल के वर्तमान मालिक मोहम्मद इरफान उर्फ भूरा को भी आरोपी बनाया है।
आधार नंबर वहीं, नाम बदला
गुरुवार शाम मंछामन कॉलोनी स्थित होटल तपोवन से पकड़े गए मुंबई के युवक आसिफ पिता असलम शेख के बारे में चौंकाने वाली जानकारी सामने आई है। आसिफ ने होटल संचालक अर्जुन डोडिया को रूम लेने के लिए जो आधार कार्ड उपलब्ध कराया था उसमें उसका नाम राहुल आर. गुप्ता दर्ज है, जबकि उसी के पास से जब्त हुए दूसरे मूल आधार कार्ड में उसका नाम आसिफ पिता असलम शेख है। दोनों ही आधार कार्ड में फोटो व पता एक समान ही है, केवल एडिटिंग के जरिए नाम और पिता का नाम बदल दिया गया था। इस मामले में नीलगंगा पुलिस ने होटल संचालक अर्जुन डोडिया की रिपोर्ट पर आसिफ के खिलाफ धोखाधड़ी की धाराओं में अपराध दर्ज किया है। आसिफ ने फर्जी आधार कार्ड क्यों बनवाया और इसके पीछे उसकी मंशा क्या थी, इसी तथ्य को खंगालने में पुलिस जुटी है।
मंदिर में नहीं गया, इसलिए धर लिया: आसिफ उज्जैन में आया तो युवती के साथ ठहरने के लिए तीन होटलों पर गया। दो जगह कमरे नहीं मिले। एक होटल पर कमरा लेने के लिए असली आधार कार्ड दिखा दिया था, यहीं से हिंदूवादी संगठन के कार्यकर्ता पीछे लगे। तपोवन होटल पर उसे एक ऑटो रिक्शा चालक ने छोड़ा था। यहां चेक-इन के बाद युवती और आसिफ दोनों ही महाकालेश्वर मंदिर गए थे। यहां फर्जी राहुल गुप्ता यानी आसिफ शेख मंदिर के अंदर नहीं गया, युवती अकेले ही मंदिर गई। वह खुद बाहर ही खड़ा रहा। उसकी इस संदिग्ध हरकत के बाद हिंदू जागरण मंच के कार्यकर्ताओं ने आसिफ पर नजर रखी और शाम को पुलिस की सहायता से उसे दबोच लिया।
होटल संचालक का अनुबंध समाप्त हो गया था, इसके बाद भी उसने ठेकेदार को काबिज रखा। मामले में रुपए के लेन-देन और स्रोत का भी पता किया जा रहा है।
गगन बादल, थाना प्रभारी महाकाल
तीन दिन लव जिहाद के तीन मामले
1. 25 नवंबर को हिंदू जागरण मंच, बजरंग सेना के कार्यकर्ताओं ने पंवासा से मोहसिन निवासी भार्गव मार्ग को मोटरसाइकिल पर एक युवती को घूमाते हुए पकड़ा था। मोहसिन फलों का ठेला लगाने वाले मोहसिन के पास महंगी मोटरसाइकिल है और रुपए खर्च करने का रौब दिखाकर ही उसने छत्रीचौक पर फेरी करने वाली युवती को झांसे में लिया था।
2. 26 नवंबर को सारंगपुर (राजगढ़) निवासी समीर को कोट मोहल्ला स्थित न्यू परी पैलेस गेस्ट हाउस से पकड़ा गया। समीर ने यहां होटल किराए पर लेने के लिए एकमुश्त 10 लाख का भुगतान किया है, ऐसी पुलिस को जानकारी मिली है। इस तथ्य की जांच के लिए होटल संचालक से भी पूछताछ की गई है।
3. 27 नवंबर को मीरा रोड, मुंबई निवासी आसिफ पिता असलम शेख को मंछामन कॉलोनी की तपोवन होटल से कानपुर निवासी युवती के साथ पकड़ा गया। आसिफ ने फर्जी आधार कार्ड के जरिए यहां कमरा लिया था। पुलिस ने उसका मोबाइल तो जब्त कर लिया लेकिन देर रात तक भी आसिफ ने उसका सही पासवर्ड पुलिस को नहीं बताया था। इस केस में पता चला है कि आसिफ का सारा खर्च भी साथ आई युवती ही उठा रही थी।









