तपती गर्मी में बिना ऐसी, कूलर, फैन के घर का टेम्परेचर रहता है 2 डिग्री कम

अक्षरविश्व न्यूज उज्जैन। शासकीय माधव साइंस कॉलेज के प्रोफेसर हरीश व्यास ने अपने घर का नाम मातृछाया रखा और पूरे घर को इको फ्रेंडली बना दिया। उनके इस काम को देख कर यकीनन हर कोई चौंक जाएगा। उनकी तरह अपने घर को भी ऐसे ही इको फ्रेंडली बनाने के लिए जुटेगा। उनका घर व्यास नगर में है। वे घर में ही जैविक खेती भी करते हैं। प्रोफेसर अपनी बिजली, अपना पानी, अपनी सब्जी के कॉन्सेप्ट पर काम कर लोगों के लिए प्रेरणा बन रहे हैं।
घर के नाम नेशनल और इंटरनेशनल अवार्ड
आज तक आपने अवार्ड लेना किसी नागरिक के बारे में सुना होगा लेकिन हैरान करने वाली बात है कि प्रोफेसर को उनके घर के नाम से एक नेशनल और एक इंटरनेशनल अवार्ड मिले हैं। पहला इंटरनेशनल अवार्ड पर्यावरण संरक्षण के लिए 30 जनवरी 2023 को खजुराहो में मिला दूसरा नेशनल अवार्ड 5 जून 2023 को इको फ्रेंडली घर के लिए नगर निगम की और से मिला।
400 फीट के घर में बनाया गार्डन
प्रोफेसर व्यास के इस मकान की चर्चा यूं ही नहीं है। उनके मकान में 400 फीट का गार्डन है। जिसमें वे जैविक खेती करते हंै। उनके घर के गार्डन में गिलकी, कद्दू, भिंडी, धनिया, एलोवेरा, पुदीना, करेले, हरी मिर्च, तुलसी, मीठा नीम व अन्य सब्जियां, फल फ्रूट के लिए पौधे लगाए गए हैं। बड़ी संख्या में खुशबूदार पौधे भी हैं।
घर की स्टडी कर चुके कई रिसर्च फेलो
प्रोफेसर व्यास बताते है कि घर को ठंडक देने के लिए घर के बाहर आम व अन्य पेड़ लगाए है। अंदर गार्डन है कई रिसर्च फेलो इस घर के लिए रिसर्च करने आ चुके हैं। राष्ट्रीय शिक्षा नीति में शामिल इको फ्रेंडली हाउसिंग न्यू ट्रेंड ऑफ एनवायरनमेंट प्रोटेक्शन विषय के लिए बच्चे भी आकर घर की विजिट करते हैं।