सलाखों के पीछे पहुंचे नागा साधु बनकर कारों में लूटपाट करने वाले

कॉल डिटेल की जांच कर रही, भीलवाड़ा पुलिस से किया संपर्क
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उज्जैन। शरीर पर भस्म लगाए और लंगोटी पहनकर नागा साधु के वेश में शाजापुर और उज्जैन में लूटपाट करने वालों आरोपियों को रिमांड अवधि खत्म होने के बाद पुलिस ने कोर्ट में पेश किया जहां से सभी को जेल भेज दिया है। पुलिस अब उनकी कॉल डिटेल की जांच कर रही है और भीलवाड़ा (राजस्थान) पुलिस से संपर्क कर वहां हुई घटना में इनके संलिप्त होने का पता लगा रही है।
दरअसल, भैरवगढ़ थाना क्षेत्र के ग्राम कालियादेह निवासी फरियादी मंसूर पिता बहादुर अली पटेल अपनी पत्नी हिना बी और दो बच्चों के साथ के्रटा कार से इंदौर जा रहे थे। 11 नवंबर को पंवासा ओवरब्रिज को पार करने के बाद नीमनवासा मोड़ पर 7 व्यक्ति जिसमें से 4 साधु के वेश में थे, कार के सामने आए और मंसूर अली प उनकी पत्नी के साथ मारपीट करते हुए सोने की दो अंगूठी, 5 हजार कैश लूट लिए और अर्टिगा कार क्र. डीएल २सी एएक्स 9959 में बैठकर फरार हो गए। मामले में फरियादी ने पंवासा थाने में रिपोर्ट की थी।
पुलिस ने सेट पर पॉइंट चलाया जिसके बाद नरवर पुलिस ने नागझिरी और पंवासा पुलिस की मदद से पालखंदा चैकिंग पॉइंट पर सिल्वर अर्टिगा कार में सवार आरोपी अली पिता धर्मवीर नाथ निवासी करनाल, हरियाणा, मगन पिता दिलीप नाथ निवासी नजफगढ़, दिल्ली, अरुण पिता मीणा नाथ निवासी सोनीपत, हरियाणा, राजेश पिता ऋषिपाल नाथ नजफगढ़, दिल्ली, रूमाल पिता फूल नाथ निवासी बसंत कुंज, दिल्ली, बिरजू पिता मिश्री नाथ निवासी मुखर्जी नगर, दिल्ली, राकेश कुमार पिता सुरेंद्र सिंह निवासी साहिबाबाद, दिल्ली को धरदबोचा था। आरोपियों ने शाजापुर और घट्टिया क्षेत्र के जैथल में भी इसी तरह से वारदात की थी। सभी को कोर्ट में पेश कर पुलिस ने दो दिन के रिमांड पर लिया था। शुक्रवार को रिमांड अवधि पूरी होने पर फिर से कोर्ट में पेश किया जहां से सभी आरोपियों को जेल भेज दिया गया।
भीलवाड़ा में इस तरह की वारदात की जानकारी मिली थी। इसके लिए वहां की पुलिस से संपर्क कर जानकारी ली जा रही है। इसके अलावा आरोपियों के कॉल डिटेल की जांच भी की जा रही है।
– गमरसिंह मंडलोई
टीआई, थाना पंवासा









