Turkey India 2 साल बाद तुर्की डाहेंगा कहर अपने घातक मिसाइलों से, जाने पूरी डिटेल्स

Turkey India 2 साल बाद तुर्की डाहेंगा कहर अपने घातक मिसाइलों से, जाने पूरी डिटेल्स पहलगाम आतंकी हमले के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव चरम पर है. ऐसे में दुनिया के दो देश खुलकर इस ‘आतंकिस्तान’ के सपोर्ट में खड़े हो गए हैं. मुस्लिम बहुल तुर्की ने पाकिस्तान की मदद के लिए सैन्य साजोसामान भेज दिया है. 27 अप्रैल को तुर्की वायुसेना का C-130 हरक्यूलिस सैन्य परिवहन विमान कराची पहुंचा, जिसमें युद्ध संबंधी उपकरण थे. यह बढ़ते क्षेत्रीय तनाव के बीच पाकिस्तान के समर्थन के लिए पहुंचाए गए हैं. यह दोनों देशों के बीच व्यापक रक्षा सहयोग का हिस्सा है. तुर्की वही देश है जहां विनाशकारी भूकंप आने के बाद भारत ने फौरन सहायता भेजी थी लेकिन वह तो एहसान फरामोश निकला. चीन ने भी पहलगाम हमले की जांच को लेकर पाकिस्तान के सुर में सुर मिला दिया है. मीडिया रिपोर्टों में दावा किया गया है कि चीन ने भी पाक एयरफोर्स की मदद के लिए हाईटेक PL-15 मिसाइलों की डिलिवरी भेजी है.
एर्दोगन की टिप्पणी के एक हफ्ते बाद विदेश मंत्रालय की यह प्रतिक्रिया आई है. एर्दोगन ने यह टिप्पणी अपनी इस्लामाबाद यात्रा के दौरान की थी, जहां उन्होंने पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ से मुलाकात की थी. एर्दोगन ने लगभग दो साल तक कश्मीर मुद्दे पर चुप्पी बनाए रखी थी. इस दौरान उन्होंने संयुक्त राष्ट्र महासभा जैसे मंचों पर अपनी सार्वजनिक टिप्पणियों में इस मामले का जिक्र नहीं किया था. जबकि उससे पहले तुर्की कश्मीर पर जहर उगलने को लेकर ही कुख्यात था.
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Turkey India 2 साल बाद तुर्की डाहेंगा कहर अपने घातक मिसाइलों से, जाने पूरी डिटेल्स
एर्दोगन के बयान पर करारा जवाब देते हुए विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा कि एर्दोगन को भारत के आंतरिक मामलों पर टिप्पणी करने के बजाय, भारत के खिलाफ सीमा पार आतंकवाद को समर्थन देने की पाकिस्तान की नीति पर ध्यान केंद्रित करना चाहिए था. जायसवाल ने कहा, ‘किसी दूसरे देश के आंतरिक मामलों पर टिप्पणी करने के बजाय बेहतर होता कि भारत के खिलाफ सीमा पार आतंकवाद का इस्तेमाल करने की पाकिस्तान की नीति की निंदा की जाती, जो जम्मू-कश्मीर के लोगों के लिए सबसे बड़ा खतरा है.’
बार-बार पाकिस्तान को मदद करने के पीछे तुर्की का मिडिल ईस्ट गेम है. 2000 से तुर्की पाकिस्तान के सैनिकों को ट्रेनिंग देता आ रहा है. पाकिस्तान के एफ-16 बेड़े को मेनटेन करने में भी तुर्की मदद देता है. चीन के बाद तुर्की ही पाकिस्तान का दूसरा सबसे बड़ा हथियारों का सप्लायर है. तुर्की ने पाकिस्तान की पनडुब्बियों को भी अपग्रेड किया है.
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