पिछले हिस्से में चल रहे निर्माण कार्य रोके
अक्षरविश्व न्यूज . उज्जैन तत्कालिन सिंधिया रियासत द्वारा बनाया गया भव्य जिला अस्पताल का भवन टूटेगा। भवन के टूटने को लेकर जहां अलग-अलग कयास लगाए जा रहे हैं वहीं इस बात का आधिकारिक रूप से न तो खण्डन किया जा रहा है और न ही बताया जा रहा है कि आखिर प्रदेश के स्वास्थ्य विभाग की मंशा क्या है?
उज्जैन संभाग के सबसे बड़े अस्पताल, जिसे जिला या सिविल अस्पताल कहा जाता है का विशाल भवन आज भी अपनी जगह मजबूती से खड़ा हुआ है। भू-तल और प्रथम तल पर प्रारंभिक रूप से चार वार्डो से शुरू यह अस्पताल बाद में विस्तार लेते गया। यहां उस समय का सबसे आधुनिक ऑपरेशन थियेटर बना वहीं लिफ्ट भी लगी। बाद में पिछले हिस्से में विस्तार होकर नैत्र और हड्डी वार्ड बनाया गया,जोकि भू ओर प्रथम तल पर संचालित होते रहे। परिसर में ही तत्कालिन समय बनी ओपीडी है। जहां सुबह ओर शाम को आपातकालीन केस आते हैं तथा यहीं पर इंजेक्शन/मायनर सर्जरी का काम होता है। समीप में सेठी भवन है, जिसमें विशेषज्ञ ओपीडी, फिजियोथेरेपी, दवाई वितरण का काम होता है। इस भवन के पीछे पोस्टमार्टम भवन बना हुआ है।
टी.बी. की करोड़ो रुपए में बनने वाली लेब का काम रोका
ऐसे हुआ चर्चाओं का दौर शुरू
मुख्य भवन के पिछेवाले हिस्से में 50 बिस्तर का आधुनिक आयसीयू बनना शुरू हुआ। समीप में 100 बिस्तर के भवन का विस्तार होना था। गड्ढे खोदे गए थे ओर ठेकेदार ने पिल्लर उठा दिए थे। यह काम भी रोक दिया गया। साथ ही सेठी भवन के प्रथम तल पर टी.बी. की जांच की संभाग की सबसे बड़ी और उन्नत लेब जोकि करोड़ों रूपए में बननेवाली थी,उसका काम रोक दिया गया। इधर माधवनगर अस्पताल में परदे के पिछे से निर्देश पहुंचे कि जिला अस्पताल के वार्ड शिफ्ट होंगे, व्यवस्थाएं बनाओ।
इनका कहना है
इस संबंध में सिविल सर्जन डॉ.पी.एन.वर्मा से चर्चा की गई तो उन्होने बताया कि-पिछले माह भोपाल से एसीएस सुदाम खाड़े आए थे। उन्होने मौके का अवलोकन किया। कलेक्टर भी उनके साथ थे। श्री खाड़े ने निर्देश दिए कि मेडिकल कॉलेज के उपयुक्त अस्पताल भवन बनाया जाए,जोकि चरक भवन से कमतर न हो। इसके लिए कार्ययोजना बनाई जाए। यह योजना जिला प्रशासन बना रहा है। उसी समय से काम रोक दिया गया है। हालांकि हमें कोई स्पष्ट निर्देश नहीं है कि जिला अस्पताल भवन तोड़ा जाना है और नया भवन बनेगा। लेकिन कुछ तो हो रहा है। भोपाल से अधिकृत निर्देश/जानकारी आने पर स्थिति स्पष्ट होगी।