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परिवार से बिछड़े तो महाकाल पुलिस बनी सहारा, अपनों से मिलवाया

खाना खिलाया तो छलके आंसू, पोता लेने पहुंचा 75 साल के दादा को

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अक्षरविश्व न्यूज उज्जैन। अक्सर पुलिस को सख्ती के लिए जाना जाता है लेकिन महाकाल थाना पुलिस लंबे समय से अपराधों पर लगाम लगाने के साथ परिजनों से बिछड़े उनके अपनों को मिलवाने का काम भी कर रही है। इसी कड़ी में एक बार फिर पुलिस ने बिहार के रहने वाले श्रद्धालुओं को उनके घरवालों से मिलवाने में अहम भूमिका निभाई।

महाकाल पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार चंपारण (बिहार) के ग्राम पोखरिया राय के रहने वाले 75 वर्षीय शिवनाथ पिता चिरकुट महतो अपने परिजनों और गांववालों के साथ 2 सितंबर को भगवान महाकाल के दर्शन करने आए थे लेकिन यहां दर्शन के दौरान भीड़ की वजह से बिछड़ ्रगए। काफी तलाशने के बाद भी जब परिजनों को उनका कुछ पता नहीं चला तो उन्होंने महाकाल थाने पहुंचकर सूचना दी। इस दौरान उनकी पत्नी ने बिलखते हुए उन्हें तलाशने की गुहार लगाई। इसके बाद एएसआई चंद्रभान सिंह चौहान ने 3 सितंबर को शिवनाथ महतो को खोज निकाला। इसके बाद उनसे नाम-पता पूछकर पहचान की गई और उनके परिजन और ग्रामीण साथियों को उनके मिल जाने की सूचना दी गई लेकिन तब तक वह वापस लौट चुके थे।

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खाना खिलाया तो छलक पड़े आंसू
परिजनों के लौटने के बाद एएसआई चौहान ने उन्हें रेस्टोरेंट में ले जाकर खाना खिलाया तो उनके आंसू झलक पड़े। पुलिस ने ना सिर्फ श्रद्धालु शिवनाथ के स्वास्थ्य का ध्यान रखा बल्कि उन्हें भगवान महाकाल के दर्शन भी करवाए। शुक्रवार को पोता प्रिंस कुमार उज्जैन पहुंचा जिसे विधिवत दस्तावेजी कार्यवाही के बाद दादा शिवनाथ महतो को सकुशल सुपुर्द कर दिया और ट्रेन में भी बैठाया। दादा-पोते ने पुलिस को धन्यवाद दिया औ रवाना हो गए।

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