मोदी सरकार ने किया राहत पैकेज का ऐलान

प्रेस कॉन्फ्रेंस में वित्त मंत्री ने आज 8 राहत उपायों का ऐलान करने की बात कही। वित्त मंत्री ने 1.5 लाख करोड़ रुपये की अतिरिक्त आपात ऋण सुविधा गारंटी योजना की घोषणा की। इनमें चार राहत उपाय नए हैं। हेल्थ सेक्टर से जुड़ा है एक राहत पैकेज भी है।

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हेल्थ सेक्टर से जुड़ा है एक राहत पैकेज दिया जा रहा है। इस पैकेज के मेडिकल सेक्टर को लोन गारंटी दी जाएगी। हेल्थ सेक्टर के लिए 50 हजार करोड़ रुपए वअन्य सेक्टर्स के लिए 60 हजार करोड़ रुपए। इसके तहत 100 करोड़ तक का लोन 7.95 फीसद ब्याज पर दिया जाएगा, वहीं अन्य सेक्टर्स के लिए ब्याज 8.25% से ज्यादा नहीं होगी।

सबसे पहले इस स्कीम में 3 लाख करोड़ रुपए की घोषणा की गई थी। ECLGS 1.0, 2.0, 3.0 में अब तक 2.69 लाख करोड़ रुपए का वितरण किया जा चुका है। ECLGS में 1.5 लाख करोड़ रुपए अतिरिक्त दिए जाएंगे। यानी अब इस स्कीम का कुल दायरा 4.5 लाख करोड़ रुपए हो गया है। अब तक शामिल किए गए सभी सेक्टर्स को इसका लाभ मिलेगा।

क्रेडिट गारंटी स्कीम के तहत छोटे कारोबारी, इंडिविजुअल एनबीएफसी माइक्रो फाइनेंस इंस्टीट्यूट से 1.25 लाख तक का लोन ले सकेंगे।इसका मुख्य मकसद नए लोन को वितरण करना है। इस पर बैंक के एमसीएलआर पर अधिकतम 2% जोड़कर ब्याज लिया जा सकेगा। इस लोन की अवधि 3 साल होगी और सरकार गारंटी देगी।इस स्कीम का लाभ करीब 25 लाख लोगों को मिलेगा। 89 दिन के डिफॉल्टर समेत सभी प्रकार के उधार लेने वाले इसके लिए योग्य होंगे।

कोविड महामारी से प्रभावित रजिस्टर्ड टूरिस्ट गाइड और ट्रेवल टूरिज्म स्टेकहोल्डर्स को सरकार वित्तीय मदद देगी। इसमें लाइसेंधारी टूरिस्ट गाइड को 1 लाख रुपए और टूरिस्ट एजेंसी को 10 लाख रुपए का लोन दिया जाएगा। इस लोन को 100% गारंटी दी जाएगी। इस लोन पर कोई प्रोसेसिंग चार्ज नहीं होगा।

कोरोना की मार से टूट चुके टूरिज्म सेक्टर के लिए वित्त मंत्री ने राहत देने के लिए बड़ा कदम उठाया है। मोदी सरकार पहले 5 लाख विदेशी टूरिस्ट वीजा मुफ्त जारी करेगी। यह स्कीम 31 मार्च 2022 तक लागू रहेगी। इस स्कीम के तहत 100 करोड़ रुपए की वित्ती सहायता दी जाएगी। एक टूरिस्ट को केवल एक बार स्कीम का लाभ मिलेगा। विदेशी टूरिस्टों को वीजा की अनुमति मिलते ही इस स्कीम का लाभ मिलेगा। करीब 1.93 करोड़ विदेशी टूरिस्ट 2019 में भारत आए थे।

कोरोना की पहली लहर की वजह से देश में लगे संपूर्ण लॉकडाउन से आम आदमी से लेकर बड़े कारोबारी तक की आर्थिक स्थति डांवाडोल हो गई थी। राहत के लिए पिछले साल अक्टूबर में आत्मनिर्भर भारत रोजगार योजना लॉन्च की गई थी। अब इस आत्मनिर्भर भारत रोजगार योजना का विस्तार किया जा रहा है। पीसी में वित्त राज्य मंत्री अनुराग ठाकुर ने बताया कि अब इस स्कीम को बढ़ाकर 31 मार्च 2022 तक किया जा रहा है। इस स्कीम के तहत अब तक करीब 21.42 लाख लाभार्थियों के लिए 902 करोड़ रुपए खर्च किए जा चुके हैं। बता दें इस स्कीम के तहत सरकार 15 हजार से कम वेतन वाले कर्मचारियों और कंपनियों के पीएफ का भुगतान करती है। इसके तहत सरकार कर्मचारी-कंपनी का 12%-12% पीएफ का भुगतान करती है। सरकार ने इस स्कीम में 22,810 करोड़ रुपए खर्च करने का लक्ष्य रखा है, जिससे करीब 58.50 लाख लोगों को लाभ मिलेगा।

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