चंद्रग्रहण का नजारा नहीं दिखाई दिया बड़ी संख्या में वेधशाला पहुंचे थे लोग

By AV NEWS

उज्जैन। कार्तिक पूर्णिमा पर मंगलवार को साल 2022 के आखिरी चंद्र ग्रहण का नजारा उज्जैन में नहीं दिखाई दिया। पश्चिमी विक्षोभ के कारण घने बादल छाए रहने से शहरवासियों को खगोलीय घटना दिखाई नहीं दी। धर्मशास्त्रीय मान्यता के अनुसार ग्रहण मोक्ष के पश्चात मंदिरों का शुद्धिकरण किया गया। इसके बाद पूजन आरती हुई।

शासकीय जीवाजी वेधशाला के अधीक्षक डॉ. राजेंद्र प्रकाश गुप्त ने बताया कि पश्चिमी विक्षोभ के कारण दोपहर बाद से ही उज्जैन में बादल छाए थे, इसलिए शाम 5 बजकर 43 मिनट पर चंद्रोदय दिखाई ही नहीं दिया।

वेधशाला में खगोलीय घटना का नजारा देखने आए लोग चंद्रोदय का इंतजार करते रहे, लेकिन शाम 6 बजकर 19 मिनट ग्रहण मोक्ष के समय तक चंद्रमा बादलों की ओट से बाहर नहीं आया। इसके चलते उज्जैन में ग्रहण का नजारा दिखाई नहीं दिया।

इधर धार्मिक मान्यता के अनुसार मंदिर तथा घरों में ग्रहण का सूतक होने से पूजन-पाठ नहीं किया गया। मोक्ष के बाद शाम को मंदिरों को धोकर शुद्ध किया गया। पुजारियों ने मंदिरों में आरती पूजा की। बड़ी संख्या में श्रद्धालु शिप्रा स्नान करने पहुंचे।

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