हर लड़की का सबसे बड़ा टास्क और डर अपनी सास के साथ एडजस्ट करने को लेकर होता है। उसे नये परिवार में खुद को साबित करने का काम भी करना होता है। जिसमें वो नये परिवार के सदस्यों के साथ अपना तालमेल बैठाती है, लेकिन उसके लिए सबसे मुश्किल काम अपनी सास को खुश करने का होता है। वहीं सास की भी जिम्मेदारी होती है कि घर की नई बहू को किसी तरह की परेशानी ना हो।
अगर सास-बहू का रिश्ता एक पटरी पर आ जाता है तो घर की गाड़ी भी बेहतर तरीके से चलती है, लेकिन जैसे ही दोनों के बीच किसी तरह की ऊंच-नीच हुई वहीं से दोनों के बीच दूरी बढ़नी शुरू हो जाती है, जिसका असर परिवार पर भी पड़ने लग जाता है। लेकिन अगर सास और बहू कोशिश करें तो आपस में सांमजस्य बैठाकर काम किया जा सकता है तो इससे इस रिश्ते की सुंदरता के साथ परिवार में भी सुख शांति बनी रहती है।
समझदारी से काम लेना
सास-बहू की नोंक-झोंक तो सदियों से चली आ रही है, लेकिन अब वक्त के बदलाव के साथ सास और बहू के रिश्ते में धीरे-धीरे लड़ाई झगड़े से हटकर प्यार भर रहा है। दोनों के बीच बॉन्डिंग देखी जा सकती है। क्योंकि आज की बहुओं के साथ ही सास भी काफी स्मार्ट और समझदार हो गई हैं। उनको इस बात का अंदाजा है कि आपसी प्यार से ही सारे काम कराए जा सकते हैं, वहीं बहू को भी पता है कि सास का दिल कैसे जीतते हैं।
गलत विचार ना रखें
जब कोई भी नया रिश्ता बनता है तो उसमें आपसी समझदारी होना बहुत जरूरी है। इसके साथ ही मन में किसी तरह का पूर्वाग्रह भी सास-बहू के रिश्ते को कमजोर करता है। ये दोनों के लिए ही महत्वपूर्ण है कि अगर किसी तरह की कोई गलत फहमी है तो उसे सामने वाले से बात करके दूर कर ली जाए। इन्ही वजहों से भी सास और बहू का रिश्ता खराब होने लग जाता है। इसलिए आपस के रिश्ते को मधुर बनाए रखने के लिए मन में एक दूसरे के लिए गलत विचार और पूर्वाग्रह ना पालें।
एक दूसरे का साथ
आज के वक्त में सबसे अहम हो गया है एक दूसरे का साथ। ये सास और बहू पर भी लागू होता है। क्योंकि बहू भी ऑफिस जाती है तो घर पर सास बच्चों की देखभाल अच्छे से करती हैं। वहीं बहू भी सास की सेवा करती है जब वो बीमार होती हैं। अगर इन दोनों के बीच बॉन्डिंग सही ना हो तो ये दोनों ही काम सही से नहीं हो सकते। इसके साथ ही बहू के साथ सास का घर के काम में हाथ बंटाना इस बात का संकेत देता है कि सास बहू की कद्र करती है, वहीं बहू भी सास की बातें मानती है तो इससे पता चलता है कि वो उकी रिस्पेक्ट करती है। दोनों के बीच अच्छे रिश्ते के लिए एक साथ बाहर जाना, शॉपिंग करना सास-बहू के रिश्ते को औपर ज्यादा मजबूत कर देता है।
एक दूसरे का रखें खयाल
अगर बहू को सास के लिए वक्त नहीं मिल पाता तो छुट्टी वाले दिन उनसे बात करने, अपनी बातें बताने, एक साथ खाना, या फिर बाहर घूमने जाने का प्लान करें। इससे उनको इस बात का अहसास होगा कि उनकी बहू उनको अपनी मां की तरह ट्रीट करती है, फिर वो भी आपको अपनी बेटी की तरह ही ट्रीट करने लग जाएंगी। सास और बहू के रिश्ते की मिठास इन्ही सारी बातों से मिलकर बनती है।