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ओके रिपोर्ट के 20 घंटे भी नहीं हुए और बच्चें से भरी बस, ट्रक से भिड़ गई

ओके रिपोर्ट के 20 घंटे भी नहीं हुए और बच्चें से भरी बस, ट्रक से भिड़ गई

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RTO में स्कूल बसों की फिटनेस-टेस्टिंग का दिखावा….

उज्जैन।स्कूली बसों की फिटनेस और बच्चों की सुरक्षा के मद्देनजर परिवहन विभाग द्वारा स्कूल बसों की फिटनेस-टेस्टिंग की जा रही है। फिटनेस-टेस्टिंग के नाम पर दिखावा और औपचारिकता पूर्ण होती है। ऐसा,इसलिए की ओके रिपोर्ट के २० घंटे भी नहीं हुए कि बच्चों से भरी तेज गति से चल रही स्कूली बस-आगे चल रहे ट्रक से भिड़ गई। बस में बच्चे भी सवार थे,शुक्र है कोई हादसा नहीं हुआ।

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ज्ञान सागर स्कूल देवास रोड़ की स्कूल बस एमपी 13-पी-0262 गुरुवार को दोपहर स्कूली बच्चों को छूट्टी के बाद शहर में लेकर आ रही थी। नागझिरी के पास बस आगे चल रहे मिनी ट्रक एमपी 09-जीई-1626 से भिड़ गई।

घटना में कोई बड़ा हादसा नहीं हुआ,लेकिन आरटीओ की गंभीर चूक उजागर हो गई। दरअसल इस बस का एक दिन पूर्व ही आरटीओ फिटनेस-टेस्टिंग हुई थी और बस (स्कूल का बस नंबर-13को ओके रिपोर्ट जारी की गई थी और कुछ ही घंटे बाद बस ने मिनी ट्रक को पीछे से टक्कर मार दी।

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अब सवाल यह कि फिटनेस-टेस्टिंग में स्पीड गवर्नर को देखा गया या नहीं? जानकारों के अनुसार स्कूली बसों में गति नियंत्रण के लिए स्पीड गवर्नर की अनिवार्यता है। स्कूल बस एमपी 13-पी-0262 की फिटनेस-टेस्टिंग में स्पीड गवर्नर था या नहीं? और यदि था तो बस तेज गति से क्यों दौड़ रही थी। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार बस की गति बहुत तेज थी। ड्रायवर बस को नियंत्रित नहीं कर पाया और वह मिनी ट्रक से जा भिड़ी। इस स्थिति ने आरटीओ की भूमिका को कटघरे में खड़ा कर दिया है।

ड्रायवर, कंडेक्टर को भी तलब किया था

बता दें कि कलेक्टर की अध्यक्षता में आयोजित जिला सड़क सुरक्षा समिति की बैठक में स्कूली बसों की फिटनेस टेस्ट कर रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्देश दिए गए थे।

इसी क्रम में सभी स्कूल संचालकों और बस ऑपरेटर्स को निर्देशित को तय दिनांक पर वाहनों को मय दस्तावेज मसलन वाहन का पंजीयन कार्ड, फिटनेस, परमिट, टैक्स रिपोर्ट, चालक-परिचालक का लायसेंस, प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की रिपोर्ट और वाहनों के अनुबंध के दस्तावेज लेकर आरटीओ आने का कहा गया था।

इसके लिए बसों के ड्रायवर, कंडेक्टर, संचालकों को दस्तावेजों के साथ आरटीओ तलब किया गया था। इस मामले में प्रतिक्रिया के लिए आरटीओ संतोष मालवीय से संपर्क किया गया,लेकिन उनका मोबाइल लगातार स्वीच ऑफ मिला।

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