मध्यप्रदेश में तीन विधायक BJP में शामिल

मध्यप्रदेश में विपक्ष के तीन विधायक भाजपा में शामिल

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राष्ट्रपति चुनाव से पहले मध्य प्रदेश में विपक्ष के तीन विधायक भाजपा में शामिल हुए हैं। इनमें बसपा विधायक संजीव सिंह, सपा विधायक बबलू शुक्ला और निर्दलीय विधायक विक्रम राणा ने भाजपा की सदस्यता ले ली है। इसे राष्ट्रपति चुनाव में बीजेपी की वोट वैल्यू बढ़ाने के प्रयास के तौर पर देखा जा रहा है।

प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा, मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, प्रदेश प्रभारी मुरलीधर राव ने बसपा विधायक संजीव सिंह, सपा विधायक बबलू शुक्ला और निर्दलीय विधायक विक्रम राणा को पार्टी की सदस्यता दिलाई। भाजपा के प्रदेश मुख्यालय पर तीनों विधायकों ने पार्टी की सदस्यता ली।

मुख्यमंत्री ने कहा कि 2018 में बीजेपी की 109 सीट आई थी। कांग्रेस को भी बहुमत नहीं था। विक्रम राणा जी भाजपा में शामिल होने आ रहे थे, लेकिन मैंने कहा था कि जिनके पास ज्यादा सीट है वो सरकार बनाए। वो सरकार 15 महीने ही चली।

हम सब उसके कारण जानते हैं। जो लोग पार्टी की विचारधारा और पार्टी के करीब थे, उनका लगातार समर्थन मिला। आज तीनों साथियों का ह्दय से स्वागत करता हूं। मैं तीनों को विश्वास दिलाता हूं कि अपने क्षेत्र के विकास के लिए जनता की भलाई में कोई कसर न छोड़ें। जनता की अधिकतम भलाई करने का सभी मिलकर प्रयास करेंगे।

संजीव सिंह ने भाजपा छोड़कर बसपा से 2013 का विधानसभा चुनाव लड़ा था, लेकिन जीत नहीं सके थे। 2018 में उन्होंने 35 हजार से ज्यादा वोट से जीत हासिल की थी।

संजीव बीजेपी में भारतीय जनता युवा मोर्चा में प्रदेश पदाधिकारी और जिला पंचायत अध्यक्ष रह चुके हैं। संजीव ने अपने पिता के साथ 2013 में बसपा ज्वाइन की थी। संजीव ने कहा कि मैं भटक गया था। आज वापस आने पर खुशी हो रही है।

राजेश कुमार शुक्ला छतरपुर जिले की बिजावर विधानसभा सीट से सपा के विधायक हैं। राजेश शुक्ला ने 2018 चुनाव में भाजपा के पुष्पेंद्रनाथ पाठक को हराया था। उनके राज्यसभा के लिए हुए मतदान में भाजपा के समर्थन में मतदान किया था, जिसके बाद उन्हें पार्टी से निष्कासित कर दिया था।

शुक्ला ने कहा कि वह भाजपा के टिकट पर चुनाव लड़ना चाहते थे, लेकिन उनकी इच्छा उस समय पूरी नहीं हुई। आज भाजपा के साथ जुड़कर काम करने का मौका मिलने की खुशी है।

विक्रम सिंह राणा सुसनेर विधानसभा से निर्दलीय विधायक है। विक्रम सिंह 2018 से ही मुख्यमंत्री के संपर्क में थे। उन्होंने बताया कि वह चुनाव जीतने के बाद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और भाजपा के साथ काम करना चाहते थे, लेकिन उस समय मुख्यमंत्री ने सरकार नहीं बनाने की बात कहकर मना कर दिया था। उन्होंने भाजपा में शामिल होकर क्षेत्र का विकास और काम करने की बात कही।

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