अगर रसोईघर गलत दिशा में हो तो सबसे पहले घर की महिलाओं पर इसका नकारात्मक प्रभाव पड़ता है. अन्य सदस्यों को भी स्वास्थ्य संबंधी परेशानी हो सकती है.घर में रसोई की मुख्य भूमिका होती है, रसोईघर में पकाया गया खाना आपको स्वस्थ्य, तनावमुक्त रखता है लेकिन अगर यही रसोईघर गलत दिशा में हो तो सबसे पहले घर की महिलाओं पर इसका नकारात्मक प्रभाव पड़ता है. अन्य सदस्यों को भी स्वास्थ्य संबंधी परेशानी हो सकती है. आज जानते हैं वास्तु के अनुरूप घर में रसोईघर कहां रहना चाहिए…
किचन के लिए घर की दक्षिण-पूर्व दिशा (आग्नेय-कोण) को सर्वश्रेष्ठ माना गया है.
जिस घर में रसोईघर दक्षिण-पूर्व यानी आग्नेय कोण में नहीं हो तब वास्तु दोष को दूर करने के लिए रसोई के उत्तर-पूर्व यानी ईशान कोण में सिंदूरी गणेशजी की तस्वीर लगानी चाहिए.
इसके अलावा घर में अन्नपूर्णा या अनाज भरे हुए गणेशजी लगाना भी शुभ होता है, इससे घर में बरक्कत बढ़ती है.
चूल्हा आग्नेय कोण में, रसोई में स्लैब पूर्व व दक्षिण को घेरता हुआ होना चाहिए.
वॉश बेसिन उत्तर में होना चाहिए. भोजन बनाते समय मुख पूर्व की ओर हो, उत्तर व दक्षिण में बिलकुल नहीं होना चाहिए.
रसोईघर में पीने का पानी उत्तर-पूर्व दिशा में रखना चाहिए. रसोईघर में गैस दक्षिण-पूर्व दिशा में रखनी चाहिए.
माइक्रोवेव, मिक्सर या अन्य धातु उपकरण दक्षिण-पूर्व में रखें. रेफ्रिजरेटर या फ्रीज उत्तर-पश्चिम में रख सकते हैं.
रसोई में दीवारों का रंग पीला, नारंगी या गेरुआ रखें. रसोईघर के पास बाथरूप या शौचालय बिलकुल ना बनाएं.