उज्जैन-इंदौर सिक्सलेन निर्माण,46 KM लंबे रोड को 25 मीटर चौड़ा किया जाएगा

By AV NEWS

अगले महीने अनुबंध, वर्कआर्डर

अक्षरविश्व न्यूज. उज्जैन:सरकार ने उज्जैन में होने वाले सिंहस्थ के लिए अभी से तैयारियां शुरू कर दी है। इसी क्रम में उज्जैन और इंदौर के बीच सड़क को सिक्सलेन किया जाएगा। अगले महीने निर्माण एजेंसी के साथ अनुबंध होगा। उसके बाद वर्कआर्डर निकाला जाएगा। इसके बाद उज्जैन के हरिफाटक ब्रिज से इंदौर के अरबिंदो अस्पताल तक सड़क को सिक्सलेन में बदला जाएगा। रोड पर दोनों तरफ चार-चार मीटर और चौड़ी होगी। इस प्रकार 46 किमी के रोड को कुल 25 मीटर चौड़ा कर दिया जाएगा।

उज्जैन – इंदौर सिक्सलेन रोड को सिक्सलेन करने का ठेका होने के बाद आवश्यक प्रक्रिया को पूरा किया जा रहा है। निर्माण में इसमें 1619 करोड़ रुपये का खर्चा आएगा। पहले चरण में उज्जैन – इंदौर के बीच पहले चरण में 14 किमी की रोड बनेगी। इसके बाद 16-16 किमी की सड़क दो हिस्सों में बनाई जाएगी।

मध्य प्रदेश सड़क विकास निगम (एमपीआरडीसी) इंदौर-उज्जैन फोरलेन का काम जल्द शुरू करेगा। निर्माण एजेंसी तय होते ही एमपीआरडीसी ने अब दिसंबर से सड़क से जुड़े कार्य प्रारंभ करने की योजना बनाई है। मौजूदा फोरलेन सड़क 17 मीटर चौड़ी है, दोनों तरफ साढ़े आठ-साढ़े आठ मीटर चौड़ाई है।

यह सिक्सलेन में तब्दील होने के बाद 25 मीटर की रहेगी। प्रत्येक हिस्सा चार-चार मीटर चौड़ा किया जाएगा। इसके बाद मार्ग पर यातायात प्रभावित नहीं होगा। रोड़ के दोनों तरफ सर्विस लेन भी बनाएंगे, जो गांवों से सीधे जुड़ेंगे। गांव से निकलने वाली सड़कों को सर्विस लेन से जोड़ा जाएगा। इसके चलते वाहन सीधे सिक्सलेन पर नहीं आ सकेंगे।

प्रत्येक लेन 12.50 मीटर की

इंदौर-उज्जैन रोड पर अब और बड़ा होगा

दोनों शहरों के बीच मार्ग की चौड़ाई 25 मीटर होगी।

सड़क पर दाएं-बाएं 12.50-12.50 मीटर की तीन लेन होगी।

पूरे मार्ग पर किसी भी प्रकार का कोई बाधा नहीं है।

इसमें जमीन अधिग्रहण की भी कोई जरूरत नहीं है।

सिक्सलेन सड़क को तीन हिस्सों में बनाया जाएगा।

आठ स्थानों पर बड़े जंक्शन रहेंगे। वैसे सांवेर, शांति पैलेस तिराहा और इंजीनियरिंग कॉलेज पर फ्लाईओवर रहेंगे। नदी-नालों पर अतिरिक्त ब्रिज होंगे। साथ ही आधा दर्जन अंडरपास रहेंगे।

इनका कहना

सिंहस्थ को ध्यान में रखते हुए मध्य प्रदेश सड़क विकास निगम (एमपीआरडीसी) काम जल्द शुरू करेगा। अगले महीने निर्माण एजेंसी के साथ अनुबंध होगा। उसके बाद वर्कआर्डर निकाला जाएगा। –राकेश जैन , महाप्रबंधक एमपीआरडीसी इंदौर।

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