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शिप्रा के घाटों पर काई से फिसल रहे श्रद्धालु, नगर निगम ने शुरू की सफाई

पुल पर ब्लीचिंग पावडर डाला, आज से शुरू होगी घाटों की सीढिय़ों की सफाई

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अक्षरविश्व न्यूज. उज्जैन:शिप्रा नदी में पानी का लेवल लगातार कम हो रहा है जिससे घाटों और सीढिय़ों पर काई से फिसलने के कारण यहां स्नान, पूजन के लिये आने वाले श्रद्धालु गिरकर घायल हो रहे हैं। इस आशय का समाचार अक्षर विश्व द्वारा प्रमुखता से प्रकाशित करने के बाद नगर निगम की सफाई टीम ने घाटों पर अभियान चलाकर सफाई कार्य शुरू किया साथ ही दत्त अखाड़ा पुल व घाटों पर ब्लिचिंग पावडर का छिड़काव भी किया।

शिप्रा नदी में फिलहाल कान्ह नदी का दूषित व बदबूदार पानी स्टोर है जिसे आगे बहाकर नदी में नर्मदा का पानी स्टोर करने के निर्देश शासन द्वारा दिये गये हैं। पीएचई द्वारा नदी के स्टापडेम खोलकर कान्ह का दूषित पानी आगे बहाये जाने के कारण दत्त अखाड़ा घाट की छोटी रपट सहित घाट की सीढिय़ां पानी से बाहर आ चुकी हैं। लंबे समय से पानी में पुल व सीढिय़ां डूबी रहने के कारण इन पर काई जम चुकी थी।

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नदी में प्रतिदिन हजारों की संख्या में देश भर के श्रद्धालु स्नान, पूजन अर्चन के लिये पहुंचते हैं। घाट पर जमी काई के कारण लोग यहां फिसलकर गिर रहे थे। अक्षर विश्व द्वारा इसको लेकर समाचार प्रकाशित किया गया तो निगम अफसरों ने भूखी माता घाट से लेकर श्मशान घाट तक सफाई कार्य की शुरूआत की। रामघाट क्षेत्र के सफाई प्रभारी नीरज पतरोड़ ने बताया कि भूखी माता से श्मशान घाट तक नगर निगम के कुल 44 सफाईकर्मी नियमित कार्य में लगे हैं।

नदी में पानी का लेवल कम होने से छोटी रपट व घाटों पर काई की समस्या सामने आई तो उक्त स्थानों पर ब्लीचिंग पावडर डाला गया है। इसके अलावा नदी के पानी में मौजूद फूल आदि विसर्जन की सामग्री को भी निकालकर डम्पर के माध्यम से हटाया गया है।

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