अक्षरविश्व न्यूज उज्जैन। भिया, हम नहीं सुधरेंगे। ट्रैफिक के मामले में हमने नहीं सुधरने की कसम खा रखी है। ना हम नियम मानेंगे और ना ही उसका पालन करेंगे। दरअसल, ऐसा हम इसलिए लिख रहे हैं क्योंकि पुराने शहर के सबसे महत्वपूर्ण मार्ग सतीगेट पर सडक़ के बीच पार्क किए जाने दोपहिया वाहनों पर रोक लगाने के लिए ट्रैफिक पुलिस ने जगह-जगह चालानी कार्रवाई की सूचना लिखे बोर्ड लगाए थे।
एक दिन तो स्थिति ठीक रही, मार्ग खुला-खुला नजर आया, ऐसा लगा मानो चालान की कार्रवाई के खौफ से ही सही लेकिन चालकों ने नियमों का पालन तो किया। ऐसे में अब शहरवासियों को दिक्कत पेश नहीं आएगी लेकिन यह महज ख्वाब निकला। वाहन चालकों ने अपनी आदत के अनुसार नियमों को धज्जियां उड़ा दी और वाहनों को फिर से सडक़ों के बीचोबीच पार्क कर दिया। इतना ही नहीं यातायात पुलिस ने जो बोर्ड लगाए थे उन्हें भी वाहनों के बीच जकड़ लिया।
वाहन पार्क करने से बिगड़ती है व्यवस्था
सतीगेट से गोपाल मंदिर मंदिर तक का मार्ग शहर के सबसे व्यस्ततम मार्गों में शुमार है। यहां दिनभर खरीदारी करने वाले लोगों का जमघट रहता है। दोपहिया वाहनों से पहुंचने वाले लोग सडक़ों के बीचोंबीच वाहन खड़े कर देते हैं जिससे सडक़ संकरी हो जाती है और दूसरे वाहनों को निकलने में काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है। इसी परेशानी को खत्म करने के लिए यातायात पुलिस ने यहां बोर्ड लगाए हैं जिस पर लिखा है कि सडक़ के बीच में वाहन खड़े ना रखें अन्यथा चालानी कार्रवाई की जाएगी।
महापौर ने कहा था ‘सहयोग करें’
पिछले वर्ष दीपावली के दौरान महापौर मुकेश टटवाल ने पार्षद रजत मेहता और प्रकाश शर्मा के साथ इस मार्ग का दौरा किया था। उस वक्त उन्होंने व्यापारियों से कहा था कि वह अपनी दुकानों के डिस्प्ले सडक़ के ऊपर ना रखें और वाहनों को भी सडक़ के बीच पार्क ना करें, इसके बाद भी इस पर ध्यान नहीं दिया। अब ट्रैफिक पुलिस ने नो पार्किंग के बोर्ड लगाए तो वाहन चालकों ने उसकी भी धज्जियां उड़ा दीं और फिर वहीं वाहन पार्क कर दिए।
इनका कहना
सतीगेट के व्यापारियों, कर्मचारियों और वहां रहने वालों को अल्टरनेट पार्किंग दे नहीं पा रहे हैं। यातायात पुलिस को कहेंगे कि दिनभर में 4 बार वाहन भेजें। बरसों की आदत है, एकदम खत्म नहीं होगी, धीरे-धीरे सख्ती होगी तो व्यवस्थाएं ठीक होने लगेंगी। इसके अलावा अल्टरनेट पार्किंग की व्यवस्था पर भी काम किया जा रहा है।
रजत मेहता, क्षेत्रीय पार्षद
ट्रैफिक डीएसपी से नहीं हो सकी बात
इस संबंध में जब ट्रैफिक डीएसपी दिलीप सिंह परिहार एवं विक्रम सिंह कनपुरिया से भी चर्चा करने का प्रयास किया गया लेकिन बात नहीं हो सकी।