जो गाडिय़ां खड़ी रहती हैं उन्हें हटवाया जाए
अतिक्रमण हटा दें तो जरूरत नहीं पड़ेगी चौड़ीकरण की
यातायात पुलिस नजर आ जाए तो सबकुछ ठीक रहेगा
प्रशासन व्यापारियों के साथ बैठक कर उनकी बात सुने
सभी रास्ते खोल दिए तो शहर की हालत बिगड़ जाएगी
नरेंद्र सिंह अकेला|उज्जैन। टेंडर खुल चुके हैं, ठेकेदारों में उत्साह है। जिज्ञासा है किसे ठेका मिलेगा? कौन बने बनाए मकान तोड़ेगा, दुकानें तोड़ेगा। मजदूरों में खुशी है, काम मिलेगा। दु:खी वे लोग हैं जिनके आशियानों पर हथोड़े चलेंगे। सबकुछ बर्दाश्त है शहर के विकास के लिए। शहर के लोगों की सुविधा के लिए। केडी गेट से नयापुरा और आगे तक की सडक़ चौड़ी हुई, कोई विरोध नहीं हुआ। प्रशासन ने सडक़ चौड़ी कर दी। आगामी सिंहस्थ को देखते हुए तेलीवाड़ा से इंदौर गेट तक की सडक़ भी चौड़ी होगी। दौलतगंज फव्वारा चौक के व्यापारियों ने एकमत होकर कहा है कि इस मार्ग को अभियान से अलग किया जाए।
इस मार्ग को अभियान से मुक्त रखें
दौलतगंज होलसेल किराना एसोसिएशन के अध्यक्ष अजय रोहरा का कहना है कि सिंहस्थ हमारे शहर की शान है। हम प्रदेश सरकार की प्रत्येक विकासोन्मुखी नीति के साथ हैं। एक साथ सभी सडक़ें न खोली जाए। तेलीवाड़ा से इंदौर गेट तक की सडक़ पर्याप्त चौड़ी है। इसे मुक्त किया जाए।
दौलतगंज ब्रोकर एसोसिएशन के सचिव दिलीप बाकलीवाल का कहना है कि सरकार ने इस शहर को बहुत सी सौगातें दी हैं। हम सीएम के आभारी हैं। हमारा निवेदन है कि इस चौड़ी सडक़ को अभियान से मुक्त रखेंगे तो क्षेत्र का व्यापार प्रभावित नहीं होगा। उम्मीद है सीएम हमारी सुनेंगे।
दौलतगंज दलाल एसोसिएशन के अध्यक्ष राजेंद्र गर्ग ने कहा कि तेलीवाड़ा से इंदौर गेट तक अतिक्रमण है। नगर निगम का दस्ता यदि ईमानदारी से काम करे तो कोई समस्या ही नहीं रहेगी। अतिक्रमण के कारण साठ फीट की सडक़ तीस फीट की रह जाती है। प्रशासन पर विचार करे।
दौलतगंज दाल, चावल एसोसिएशन के सदस्य श्रीराम झामनानी का कहना है कि यातायात पुलिस कहां रहती है यह पहेली दौलतगंज चौराहे पर हर दस मिनट में जााम लगता है। लोग एक दूसरे से उलझते हैं। पुलिस वालों की ड्यूटी लगती है, लेकिन वे नजर नहीं आते हैं।
दौलतगंज के होलसेल शकर व्यापारी नवनीत गुप्ता कहना है कि सभी सडक़ें खोली जाएंगी तो शहर के हालात बिगड़ जाएंगे। अभी पाइप लाइन से ही हालत खराब हो रही है। इसलिए इस मार्ग को न छेड़ा जाए। यह मार्ग वैसे काफी चौड़ा है। सिर्फ अतिक्रमण सख्ती से हटा दिया जाए।
फव्वारा चौक के होलसेल आटा, रवा, मैदा व्यापारी अरूण अग्रवाल का कहना है कि सभी व्यापारी शासन-प्रशासन के साथ हैं। हमें कोई दिक्कत नहीं है। जब सडक़ पहले से ही पर्याप्त चौड़ी है तो तोडफ़ोड़ करने से क्या फायदा। यदि सडक़ संकरी होती तो कुछ नहीं कहते। हम खुद हथौड़े चलाते।
फव्वारा चौक के व्यापारी छबल तेजवानी ने कहा कि इस मार्ग पर बेकार गाडिय़ां खड़ी रहती हैं। इनसे जाम लगता है। इन गाडिय़ों को अन्यत्र पार्क किया जाए। यातायात पुलिस यदि अपना फर्ज ईमानदारी से निभाए तो इस सडक़ को चौड़ी करने की जरूरत ही नही ंपड़ेगी। शासन हमारी बात सुने।
भाजपा के शहर अध्यक्ष एवं दौलतगंज के वरिष्ठ व्यापारी संजय अग्रवाल का कहना है कि व्यापारी भाइयों ने अपनी मंशा जताई है। हम शासन तक व्याापारियों की मांग और बात पहुंचाएंगेे। अतिक्रमण की समस्या है। व्यापारियों को समझना चाहिए। यातायात पुलिस को अपनी ड्यूटी निभाना चाहिए।
इंदौर नगर निगम के दस्ते को बुलाया जाए
महाकाल से चलें तो शहर में सिर्फ दो ही सडक़ें लंबी हैं। एक पटनी बाजार दूसरी नई सडक़। इन दो सडक़ों में शहर सिमटा हुआ है। इसके बाद चामुंडा मंदिर चौक जो दो शहरों को जोड़ता है। तेलीवाड़ा से इंदौर गेट तक अतिक्रमण की बहार है। नगर निगम का दस्ता चाहे तो यह सडक़ अतिक्रमण मुक्त हो सकती है। इसके लिए सुझाव आए हैं कि इंदौर नगर निगम के दस्ते को एक माह के लिए उज्जैन बुलाया जाए। वह दस्ता यहां के हालात सुधार देगा।
इंदौर यातायात के जवान यहां लाए जाएं
व्यापारियों ने सही कहा, चौराहों पर खड़े होकर यातायात व्यवस्था संभालने वाले जवानों को देखने के लिए आंखें तरस गईं। कोई जवान अब बीच में नजर नहीं आता। या तो उन्हें झिझक महसूस होती है या ऊपर से आदेश हैं कि सिर्फ चालान बनाएं। क्या कारण है। चामुंडा चौक पर एक जवान नृत्य की मुद्रा में अकेला ही यातायात नियंत्रित करता था। अब पता नहीं वह कहां है। सुझाव आया है कि इंदौर के यातायात विभाग में काम करने वाले जवानों को उज्जैन लाया जाए। वे यहां की व्यवस्था ठीक कर देंगे।