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इस साल का अंतिम चंद्र ग्रहण कब है? जानें

चंद्र ग्रहण 8 नवंबर, मंगलवार को है. यह इस साल का आखिरी चंद्र ग्रहण है जो भारत समेत दुनिया के विभिन्न देशों में नजर आयेगा. चंद्र ग्रहण लगने को वैज्ञानिक रूप से जहां अदभुत खगोलीय घटना मना जाता है वहीं धार्मिक दृष्टिकोण से ग्रहण को अशुभ माना जाता है.

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15 दिनों के अंतराल पर यह दूसरा ग्रहण होगा इसके पहले बीते 25 अक्तूबर को साल का आखिरी सूर्य ग्रहण लगा था। भारत में इस चंद्र ग्रहण को देखा जा सकेगा जिसके कारण ग्रहण का सूतक काल मान्य होगा। चंद्रग्रहण में सूतक काल ग्रहण के शुरू होने से 12 घंटे पहले लगेगा।

भारत में पूर्वोत्तर राज्यों में पूर्ण चंद्र ग्रहण दिखेगा। भारत के अलावा 08 नवंबर को लगने वाला चंद्रग्रहण अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया, एशिया और पेसिफिक में दिखाई देगा।

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ज्योतिषाचार्य पं.आनंद शंकर व्यास ने बताया कि खग्रास चंद्रग्रहण है, लेकिन अपने यहां खग्रास नहीं दिखाई देगा। यहां चंद्रमा ग्रहण लगा हुआ उदित होगा। ग्रहण लगेगा 2.40 बजे से और 6.19 मिनट पर मोक्ष होगा। आंशिक चंद्रग्रहण दिखाई देगा। वो भी नीचे होने के कारण छत पर चढ़कर या यंत्र से दिखाई देगा। इस नाते उसका दर्शन थोड़ी देर के लिए होगा।

भारत में कितने बजे शुरू होगा चंद्र ग्रहण ?
चंद्र ग्रहण की तिथि: 08 नवंबर, मंगलवार 2022
चंद्रग्रहण का समय : चंद्र ग्रहण शाम के 5 बजकर 30 मिनट पर शुरू होकर 6 बजकर 19 मिनट

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उज्जैन :  शाम 5.43 से शाम 6.19 बजे तक 36 मिनट

ग्रहण के मोक्ष होने के बाद होगी महाकाल संध्या आरती

कार्तिक मास की पूर्णिमा 8 नवंबर पर खग्रास चंद्रग्रहण होने के कारण संध्या के समय ग्रहण के स्पर्श होने के बाद महाकाल मंदिर के गर्भगृह में किसी का प्रवेश नहीं होगा।  ग्रहण काल के दौरान भगवान का स्पर्श नहीं किया जाता है। ग्रहण का वेध सुबह से ही लग जाएगा। इसलिए भगवान की सुबह 11 बजे की आरती के दौरान भी वेध रहेगा। ग्रहण काल समाप्त होने के पश्चात सम्पूर्ण मंदिर का शुद्धिकरण होगा। इसके बाद श्री महाकालेश्वर भगवान को भोग लगेगा और संध्या पूजन व आरती होगी।

क्या होता है चंद्र ग्रहण

चंद्र ग्रहण के दौरान सूर्य की परिक्रमा के दौरान पृथ्वी, चांद और सूर्य के बीच आ जाती है. इस दौरान चांद धरती की छाया से पूरी तरह से छुप जाता है. पूर्ण चंद्र ग्रहण के दौरान सूर्य, पृथ्वी और चंद्रमा एक दूसरे के बिल्कुल सीध में होते हैं. इस दौरान जब हम धरती से चांद देखते हैं तो वह हमें काला नजर आता है और इसे चंद्रग्रहण कहा जाता है.

कब लगता है चंद्र ग्रहण ?

जब सूर्य और चंद्रमा के बीच पृथ्वी आ जाती है, तब चंद्र ग्रहण लगता है. वैज्ञानिक रूप से इसे अदभुत खगोलीय घटना माना जाता है और वैज्ञानिकों को ऐसी घंटनाओं का बेसब्री से इंतजार रहता है.

चंद्र ग्रहण के दौरान कौन से काम नहीं करने चाहिए

  • चंद्र ग्रहण के दौरान भगवान की मूर्ति को स्पर्श न करें.
  • पूजा-पाठ न करें.
  • चंद्र ग्रहण के दौरान भोजन करने से बचें. (बच्चे, बीमार, और बुजुगों के लिए यह मान्य नहीं)
  • इस दौरान सोने से बचें, जितना हो सके मन में अपने ईष्ट का नाम जपें.
  • गर्भवती महिलाएं ग्रहण के दौरान घर से बाहर न निकलें.
  • गर्भवती महिलाएं चाकू, छुरी, कैंची जैसी नुकीली चीजों का प्रयोग न करें.

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