डेढ़ माह बाद भी पुरातत्व विभाग ने सुध नहीं ली…

जिला अस्पताल परिसर से एक व्यक्ति ले गया पुरातत्व प्रतिमा और घर के आंगन लगा दी

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अक्षरविश्व न्यूज. उज्जैन:जिला चिकित्सालय के पीछे बहादुरगंज तरफ अस्पताल की नई बिल्डिंग का निर्माण किया जा रहा है। यहां खुदाई के दौरान पुरातत्व महत्व की तीन स्टेप वाली प्रतिमा निकली थी जिसे वर्तमान में एक व्यक्ति ने अपने घर के बाहर स्थापित कर पूजा शुरू कर दी है। नई बिल्डिंग निर्माण से पूर्व ठेकेदार ने करीब 10 फीट से अधिक गहराई तक खुदाई शुरू की जिसमें तीन स्टेप वाली भगवान शंकर की प्रतिमा निकली।

ठेकेदार ने उक्त प्रतीमा को मिट्टी से सुरक्षित निकालकर अस्पताल के जेल वार्ड के सामने पीपल के वृक्ष के आसपास बने ओटले पर रख दिया था। भगवान की प्रतिमा पर मजदूर व अन्य लोग जल चढ़ाकर पूजा कर रहे थे। अक्षर विश्व की टीम ने 20 जनवरी को प्रतिमा के फोटो पुरातत्व विशेषज्ञ को दिखाकर जानकारी प्राप्त की जिसमें खुलासा हुआ कि यह प्राचीन प्रतिमा करीब 1000 वर्ष पुरानी हो सकती है। पुरातत्व महत्व की प्रतिमा खुले में पड़ी होने का समाचार प्रमुखता से प्रकाशित किया था।

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कर्मचारियों ने मंदिर में रखवाई

अक्षर विश्व में प्रतिमा के पौराणिक महत्व संबंधि समाचार प्रकाशित करने के बाद जिला अस्पताल के कर्मचारियों ने उक्त प्रतीमा को मंदिर में स्थापित करा दिया गया। लोग यहां दर्शन व पूजन भी करने लगे लेकिन कुछ दिनों पहले बहादुरगंज के एक व्यक्ति ने उक्त प्रतीमा को मंदिर से उठाकर अपने घर के बाहर स्थापित कर लिया और अब उसे निजी बताकर पूजन करने लगा।

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प्रतिमा को त्रिवेणी संग्रहालय पहुंचाएंगे

पुरातत्व विशेषज्ञ धु्रवेन्द्र जोधा ने चर्चा में बताया कि अक्षर विश्व के माध्यम से जानकारी प्राप्त हुई थी कि उक्त प्रतीमा जिला चिकित्सालय परिसर में रखी है। उसकी जांच और अप्रूवल आदि कार्रवाई चल रही थी। इस दौरान किसी ने प्रतीमा को मंदिर में स्थापित कर दिया ऐसी जानकारी नहीं मिली। प्रतीमा का परीक्षण और उसे त्रिवेणी संग्रहालय में संरक्षित किया जाना है। यदि किसी व्यक्ति ने प्रतीमा को निजी कब्जे में लिया है तो यह गलत है। पुरातत्व विभाग पश्चिम क्षेत्र उपसंचालक को इससे अवगत कराया जायेगा।

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